अररिया 20 नवम्बर(हि.स.)। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 10वीं बार मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली। मुख्यमंत्री के साथ 26 मंत्रियों को भी राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने शपथ दिलाई। सरकार गठन के बाद जहां एनडीए कार्यकर्ता पूरे प्रदेश में उत्साहित हैं। वहीं अररिया जिला से एक को भी मंत्रिमंडल में जगह नहीं दिए जाने से कार्यकर्ताओं में मायूसी है।
जिले के छह विधानसभा में से नरपतगंज और सिकटी में भाजपा ने जीत दर्ज की। सिकटी से हैट्रिक के साथ छठी बार विधानसभा पहुंचे विजय मंडल को मंत्रिमंडल में शामिल किए जाने का कयास लगाया जा रहा था। लेकिन उन्हें मंत्रिमंडल में शामिल नहीं किए जाने से जिले में मायूसी है और स्थानीय राजनीति में इसको लेकर बहस भी छिड़ गई है। पिछली सरकार में विजय कुमार मंडल को मंत्रिमंडल में शामिल किया गया था। हालांकि चुनावी परिणाम के नजरिए से देखा जाय तो जिले में एनडीए को दो सीटों का नुकसान हुआ है और पिछले कुछ चुनाव के अपेक्षा इस बार एनडीए का परफॉर्मेंस जिला में कमजोर रहा।
फारबिसगंज और रानीगंज में एनडीए के दोनों उम्मीदवारों को पराजय का सामना करना पड़ा। जबकि पिछले दो दशक से दोनों सीट एनडीए के खाते में रही।रानीगंज से जहां जदयू जीतता रहा,वहीं फारबिसगंज से भाजपा की पारंपरिक सीट मानी जाती रही है।
जिले में सियासी समीकरण बदलने के बावजूद राजनीतिक गलियारों में चर्चा है कि चाहे महागठबंधन की सरकार रही हो या एनडीए की, अररिया जिले को हमेशा किसी न किसी स्तर पर प्रतिनिधित्व मिलता रहा है। अररिया से सरयू मिश्रा, मोइदुर रहमान, अजीमुद्दीन, तस्लीमुद्दीन, सरफराज आलम, शाहनवाज आलम, शांति देवी, रामजी दास ऋषिदेव जिले से आए ऐसे नेता रहे, जिन्होंने पूर्व में जिला से मंत्रिमंडल में प्रतिनिधित्व किया है। पिछली सरकार में शामिल विजय कुमार मंडल ने तो आपदा प्रबंधन विभाग में मंत्री रहते हुए अररिया और कोसी अंचल के मुद्दों को प्रभावी ढंग से उठाया।
ऐसे में इस बार अररिया से किसी को मंत्रिमंडल में जगह न देना स्थानीय जनता के बीच सवाल खड़े कर रहा है। लोगों का मानना है कि सीमांचल क्षेत्र पहले ही विकास के लिहाज से पिछड़ा माना जाता है, ऐसे में मंत्री पद जैसा प्रतिनिधित्व जिले की आवाज़ को मजबूत करता है और राजधानी में फैसलों तक पहुंच बढ़ाता है।
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि अररिया की छह सीटों पर इस बार का जनादेश एनडीए के लिए अनुकूल नहीं रहने के कारण मंत्री पद न मिलना माना जा रहा है।
हिन्दुस्थान समाचार / राहुल कुमार ठाकुर



