हरियाणा में डॉक्टरों की हड़ताल जारी, सरकार ने लगाया एस्मा

-प्रदेश के एक दर्जन जिलों में स्वास्थ्य सेवाएं बाधित-स्वास्थ्य मंत्री बोलीं-वैकल्पिक प्रबंध किए, मरीज नहीं होंगे परेशान

चंडीगढ़, 9 दिसंबर (हि.स.)। हरियाणा के सरकारी अस्पतालों में स्वास्थ्य सेवाएं दूसरे दिन भी प्रभावित रहीं। मंगलवार को जहां डॉक्टरों ने अनिश्चितकालीन हड़ताल का ऐलान किया, वहीं सरकार ने स्थिति को गंभीर देखते हुए छह महीने के लिए हड़ताल पर रोक लगाते हुए एस्मा (आवश्यक सेवा अनुरक्षण अधिनियम) लागू कर दिया।

डॉक्टरों की हड़ताल की वजह से यमुनानगर, पानीपत, फतेहाबाद, जींद, कैथल, हिसार, झज्जर और दादरी सहित करीब एक दर्जन जिलों में ओपीडी एवं नियमित सेवाएं बाधित हुई हैं।

हरियाणा सिविल मेडिकल सर्विसेज एसोसिएशन (एचसीएमएसए) ने चेतावनी दी है कि मांगें पूरी होने तक ओपीडी और इमरजेंसी सहित सभी सेवाएं बंद रहेंगी। एसोसिएशन ने बुधवार से आमरण अनशन की भी तैयारी कर ली है।

सरकार और एसोसिएशन के बीच वरिष्ठ चिकित्सा अधिकारियों (एसएमओ) की सीधी भर्ती रोकने पर सहमति बनी है, लेकिन एश्योर्ड करियर प्रमोशन (एसीपी) के मुद्दे पर गतिरोध बना हुआ है।

स्वास्थ्य सेवाएं बाधित न हों इसके लिए सरकार ने रोहतक, अंबाला, भिवानी, सिरसा और कुरुक्षेत्र में मेडिकल कॉलेजों के जूनियर–सीनियर रेजिडेंट्स, एनएचएम, ईएसआई और आयुष विभाग के डॉक्टरों को ड्यूटी पर लगाया है, जिससे इन जिलों में सेवाएं सामान्य हैं। वहीं अन्य जिलों में मरीजों को परेशानी झेलनी पड़ रही है।

एसोसिएशन के राज्य प्रधान डॉ. राजेश ख्यालिया ने कहा कि कई बार अपील और वार्ता के अनुरोध के बावजूद सरकार ने कोई ठोस प्रस्ताव नहीं दिया, इसलिए डॉक्टर अब अनिश्चितकाल तक सभी तरह की सेवाएं बंद रखेंगे।

इस बीच, राज्य की स्वास्थ्य मंत्री आरती सिंह राव ने हालात की समीक्षा कर दावा किया कि आवश्यक स्वास्थ्य सेवाओं पर कोई प्रभाव नहीं पड़ा है। उन्होंने कहा कि सरकार मांगों पर गंभीरता से विचार कर रही है और उम्मीद है कि हड़ताल जल्द समाप्त होगी।----------------

हिन्दुस्थान समाचार / संजीव शर्मा