झारखंड विधानसभा से 7721.25 करोड का अनुपूरक बजट ध्‍वनिमत से पारित, विपक्ष ने किया वॉक आउट

रांची, 9 दिसंबर (हि.स.)। झारखंड विधानसभा के शीतकालिन सत्र के दौरान मंगलवार को सदन में ध्वनिमत से 7721.25 करोड का अनुपूरक बजट पारित हो गया। अनुपूरक बजट पर वित्त मंत्री राधाकृष्ण किशोर का जवाब शुरू होते ही भाजपा ने वॉक आउट किया।

वित्‍त मंत्री ने कहा कि एक अप्रैल से 30 नवंबर तक 67,696.37 करोड रुपये की प्राप्ति हुई, जिसमें 66,871 करोड रुपये खर्च किए गए हैं। उन्‍होंने बताया कि कुल 98.8 प्रतिशत राशि खर्च की गई है।

उन्‍होंने कहा कि स्टेट ऑन टैक्स के लिए टारगेट 41600 करोड़ रुपए का था, जिसमें 30 नवंबर तक 23,897 करोड़ रुपए की प्राप्ति हुई है। वहीं स्टेट टैक्स से 19456 करोड़ वसूली का लक्ष्य है, जिसमें 8565.63 करोड़ रुपए की प्राप्ति हुई है। किशोर ने कहा कि हम आंतरिक संसाधन को मजबूत कर रहे हैं। एडिशनल रेवेन्यू मोबलाइजेशन से पैसे की प्राप्ति कर लेंगे। उन्‍होंने कहा कि

केंद्र से 28,863.64 करोड़ रुपए नहीं मिले हैं। वित्त मंत्री ने कहा कि 30 नवंबर तक केंद्र सरकार से केंद्रीय करों में राज्य की हिस्सेदारी में 47040 करोड़ में से 30971 करोड़ रुपए ही मिले हैं। वहीं केंद्रीय अनुदान में 17057 करोड़ में 4261.70 करोड़ ही मिला है। इस तरह केंद्र से 28,863. 64 करोड़ रुपए नहीं मिले हैं।

वित्त मंत्री ने कहा कि यदि सरकार पैसे देती को 450 रुपए में गैस सिलिंडर भी देते। उन्‍होंने कहा कि उज्जवला गैस योजना के तहत राज्‍य में 65 लाख लाभुक हैं। हर महीने इतने लाभुकों को गैस सिलेंडर देने में 12 महीने में 2100 करोड़ रुपए खर्च होंगे। केंद्र कर रहा सौतेला व्‍यवहारवित्‍त मंत्री ने कहा कि झारखंड में भाजपा की सरकार नहीं है, इसलिए केंद्र सौतेला व्यवहार कर रहा है। उन्‍होंने कहा कि जलजीवन मिशन का 6300 करोड़ रुपए नहीं मिला है। वहीं समाज कल्याण का 890 करोड़ रुपए और पेंशन मद में 132 करोड़ रुपए भारत सरकार की ओर से नहीं भेजा गया है। हालांकि उन्‍होंने कहा कि किसी भी विभाग में पैसे की कमी नहीं है। एफआरबीएम की सीमा तीन फीसदी से नीचे 2.2 फीसदी है। उन्‍होंने कहा कि इंटरनल रिर्सोस डेवलप कर राज्य को आगे ले जा रहे हैं। उन्‍होंने बताया कि राज्य के विकास के लिए 16,800 करोड़ रुपये ऋण लिया जाएगा। मंईयां सम्मान योजना में 13 हजार 500 करोड़ का बजट है। इसके अलावा 78 हजार करोड़ रुपये जेनरल स्कीम के लिए पड़े। उन्‍होंने कहा कि राज्‍य के सरकारी कर्मियों को 30 नवंबर को ही वेतन मिल चुका है। राज्‍य सरकार लॉ एंड आर्डर प्रति कमिटेंट है। उन्‍होंने कहा कि भ्रष्टाचार में लिप्त लोग हेमंत सरकार में जेल के खलाखों के पीछे हैं। हम सिस्टम को कमिटेंट फॉर पब्लिक बनाना चाहते हैं। साथ ही पुलिसिंग को मजबूत करना चाहते हैं। उन्‍होंने कहा कि राज्‍य में नक्सल नियंत्रित हुआ है खत्म नहीं हुआ। लेकिन पिछले दो वर्षों में झारखंड में नक्सल अपराध कम हुआ है।इसके बाद विधानसभा अध्‍यक्ष रबींद्रनाथ महतो ने सदन की कार्यवाही बुधवार की सुबह 11 बजे तक के लिए स्‍थगित कर दी।

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हिन्दुस्थान समाचार / Manoj Kumar