जीईआरआई-गेरी ने बीते चार वर्षों में 6.14 लाख नमूनों का सफल परीक्षण किया : कुंवरजीभाई बावलिया
- Admin Admin
- Feb 14, 2025
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राज्य सरकार ने परीक्षणाें से करीब 184 करोड़ रुपये से अधिक का राजस्व प्राप्त किया
गांधीनगर, 14 फरवरी (हि.स.)। वडोदरा में संचालित गुजरात इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट (जीईआरआई-गेरी) ने वर्ष 2021-22 से 2024-25 (31 जनवरी तक) यानी बीते
चार वर्षों में लगभग 6.14 लाख से अधिक नमूनों का सफल परीक्षण कर राज्य में निर्माण क्षेत्र को और अधिक मजबूत बनाया है।
जल संसाधन और जलापूर्ति मंत्री कुंवरजीभाई बावलिया ने बताया कि इन परीक्षणों के माध्यम से राज्य सरकार को लगभग 184 करोड़ रुपये से अधिक की भारी धनराशि का राजस्व प्राप्त हुआ है। मंत्री कुंवरजीभाई ने आगे बताया कि राज्य में सार्वजनिक और निजी क्षेत्रों में होने वाले विभिन्न निर्माण कार्यों के परीक्षण के लिए वडोदरा के गोत्री सहित राज्य में विभिन्न प्रयोगशालाएं कार्यरत हैं।
उन्होंने बताया कि इन प्रयोगशालाओं में वर्ष 2021-22 में 1.03 लाख से अधिक नमूनों के परीक्षण किए गए। जिनसे 30 करोड़ रुपये की आय प्राप्त हुई है। इसी प्रकार, वर्ष 2022-23 में 1.33 लाख परीक्षण से 42.74 करोड़ रुपये, वर्ष 2023-24 में 1.87 लाख से अधिक परीक्षणों से 53.93 करोड़ रुपये और वर्ष 2024-25 (31 जनवरी तक) में 1.90 लाख नमूनों के परीक्षण से 57.46 करोड़ रुपये सहित पिछले चार वर्षों में कुल 6.14 लाख से अधिक परीक्षणों के माध्यम से 184 करोड़ रुपये से अधिक की आय अर्जित हुई है।
जल संसाधन और जलापूर्ति राज्य मंत्री मुकेशभाई पटेल ने कहा कि गुजरात इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट ने राज्य में बीते तीन वर्षों में यानी वर्ष 2021-22 से 2023-24 तक आधुनिक उपकरणों और पर्याप्त मानव संसाधन के माध्यम से केवल महत्वपूर्ण मृदा परीक्षण, कंक्रीट मिक्स डिजाइन और एस्फाल्ट मिक्स डिजाइन सहित कुल 9,228 सफल परीक्षण किए हैं। इनमें वर्ष 2022-23 में 831 मृदा परीक्षण की तुलना में वर्ष 2023-24 में 2,646 यानी तीन गुना अधिक परीक्षण किए गए हैं, जो सार्वजनिक और निजी क्षेत्र में राज्य सरकार की गुणवत्तापूर्ण आधारभूत संरचना उपलब्ध कराने की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
मंत्री मुकेशभाई ने कहा कि सार्वजनिक और निजी निर्माण कार्यों की गुणवत्ता को लेकर किए जाने वाले विभिन्न परीक्षणों में गुजरात ने विशेष उपलब्धि हासिल की है। किसी भी सार्वजनिक इमारत या निर्माण की उम्र या टिकाऊपन उसकी बुनियाद की गुणवत्ता के आधार पर तय होती है। इस गुणवत्ता को सुनिश्चित करने के लिए राज्य सरकार की स्थापित गुजरात इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट में विभिन्न आधुनिक लैबाें में इमारतों का समय-समय पर समुचित वैज्ञानिक पद्धति से परीक्षण किया जाता है। उन्होंने बताया कि गुजरात इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट के वडोदरा स्थित मुख्यालय सहित पूरे राज्य में कुल 24 आधुनिक प्रयोगशालाएं संचालित हैं।
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हिन्दुस्थान समाचार / बिनोद पाण्डेय