जसोल धाम श्रद्धा का केंद्र एवं दर्शनीय स्थल : शिक्षा मंत्री

बाड़मेर, 4 जनवरी (हि.स.)। शिक्षा एवं पंचायतीराज मंत्री मदन दिलावर ने शनिवार को बालोतरा जिले के राणी भटियाणी मन्दिर संस्थान जसोल (जसोल धाम) का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने राणीसा भटियाणीसा, बायोसा, भैरूजी, खेतलाजी, सवाईसिंह एवं लाल बन्नासा मंदिरों में विधि-विधान से पूजा-अर्चना की।

मंदिर संस्थान समिति सदस्य कुंवर हरिश्चंद्र सिंह जसोल ने दिलावर को संपूर्ण मंदिर परिसर में हुए विकास कार्यों की जानकारी दी। इसके बाद शिक्षा एवं पंचायतीराज मंत्री ने मंदिर परिसर का निरीक्षण किया और विकास कार्यों की सराहना की।

उन्होंने मंदिर प्रबंधन के प्रयासों की प्रशंसा करते हुए कहा कि मंदिर में शिक्षा, खेल, चिकित्सा सहित पर्यावरण के क्षेत्र में सराहनीय कार्य हुए है। दिलावर ने मन्दिर संस्थान द्वारा एक विद्यालय को गोद लेने और शिक्षा को बढ़ावा देने की पहल को ऐतिहासिक बताया। उन्होंने कहा कि यह प्रयास समाज के लिए प्रेरणादायक है तथा शिक्षा के प्रति एक मजबूत संदेश देता है।

मंत्री ने मंदिर परिसर को श्रद्धा का केंद्र और दर्शनीय स्थल बताते हुए कहा कि बहुत ही कम समय में इतना भव्य और सुंदर धार्मिक स्थल बनकर तैयार हुआ है। उन्होंने कहा कि राणीसा भटियाणीसा (मां जसोल) के दर्शन कर एक अलग ही आध्यात्मिक अनुभव प्राप्त हुआ। यह स्थान श्रद्धालुओं के लिए प्रेरणा है, साथ ही यहां से हर कोई सकारात्मक ऊर्जा लेकर जाता है।

दिलावर ने मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं से अपील की कि वे यहां से प्रेरणा लेकर समाज के विकास और शिक्षा के क्षेत्र में योगदान दें। उन्होंने कहा कि मंदिर का यह वातावरण और विकास कार्य सभी के लिए प्रेरणादायक है।

राणी भटियाणी मन्दिर संस्थान जसोल ने शिक्षा को सर्वोपरि मानते हुए जो संकल्प किया है, वह पूरे क्षेत्र के लिए एक मिसाल है। मंत्री ने संस्थान की इस पहल को एक ऐतिहासिक कदम बताया और कहा कि यह भविष्य में समाज को नई दिशा देने का कार्य करेगा।

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हिन्दुस्थान समाचार / रोहित

   

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