कोलकाता नगर निगम के 141 वार्डों में कर पुनर्मूल्यांकन के लिए कमेटी गठन का फैसला
- Admin Admin
- Apr 26, 2025

कोलकाता, 26 अप्रैल (हि.स.) ।कोलकाता नगर निगम (केएमसी) ने अपने 141 वार्डों में कर पुनर्मूल्यांकन के लिए विशेष कमेटी के गठन का अंतिम निर्णय ले लिया है। इस निर्णय को हाल ही में मेयर फिरहाद हकीम की स्वीकृति प्राप्त हुई है। चूंकि नगर निगम का राजस्व विभाग मेयर के अधीन आता है, इसलिए उनकी स्वीकृति अनिवार्य थी। इसके बाद मेयर परिषद की बैठक में भी इस फैसले पर औपचारिक मुहर लगाई गई।
नगर निगम के कुल वार्डों की संख्या भले ही 144 हो, लेकिन कर पुनर्मूल्यांकन केवल 141 वार्डों में किया जाएगा। इसका कारण यह है कि 2015 के नगर निगम चुनाव से पहले जोका-1 और जोका-2 ग्राम पंचायतों को मिलाकर 142, 143 और 144 नंबर वार्ड बनाए गए थे। इन नए वार्डों में अभी तक पूरी तरह से शहरी सुविधाएं उपलब्ध नहीं हो पाई हैं। इसीलिए इन्हें इस प्रक्रिया से फिलहाल बाहर रखा गया है।
नगर निगम के राजस्व विभाग के अनुसार, हाल के आंतरिक सर्वेक्षणों में यह सामने आया कि ईस्टर्न मेट्रोपॉलिटन बाइपास के आसपास तोपसिया, वीआईपी बाजार, मुकुंदपुर, कालिकापुर, क़सबा, रुबी, नेताजी नगर और आजादगढ़ जैसे इलाकों में बाजार मूल्य और आधारभूत संरचना में काफी सुधार हुआ है। इन इलाकों को अब कोलकाता के प्रमुख समृद्ध वार्डों के समकक्ष माना जा रहा है। हालांकि, इन क्षेत्रों में संपत्ति कर की दरों में कोई परिवर्तन नहीं हुआ है। इसलिए अब कर पुनर्मूल्यांकन की आवश्यकता महसूस की गई।
2017 में आखिरी बार 'यूनिट एरिया असेसमेंट' पद्धति के तहत कर पुनर्मूल्यांकन किया गया था। उस समय भी नई प्रणाली को लागू करने में डेढ़ से दो साल का समय लगा था। इस बार भी प्रक्रिया को पूरा करने में इतना ही समय लगने की संभावना जताई जा रही है। कमेटी द्वारा तैयार की गई रिपोर्ट को अंतिम निर्णय के लिए नवान्न (राज्य सचिवालय) भेजा जाएगा। कर दरों में कोई भी बदलाव नवान्न की स्वीकृति के बाद ही लागू होगा।
नगर निगम के एक से 141 नंबर तक के वार्डों को सात ब्लॉकों (‘ए’ से ‘जी’) और विभिन्न श्रेणियों में विभाजित किया गया है। इन ब्लॉकों का निर्धारण वार्ड के आकार, सड़कों की स्थिति, सामाजिक-आर्थिक परिदृश्य और जमीन के बाजार मूल्य के आधार पर किया गया है। हर ब्लॉक के लिए 'बेस यूनिट एरिया वैल्यू' तय की जाती है, जिसे अब नए सिरे से निर्धारित किया जाएगा। अनुमान है कि पार्क स्ट्रीट, कैमैक स्ट्रीट, भवानीपुर, रासबिहारी और न्यू अलीपुर जैसे क्षेत्रों में कर दरें बढ़ सकती हैं।
हालांकि, नगर निगम के एक अन्य वर्ग का मानना है कि आगामी वर्ष में प्रस्तावित विधानसभा चुनाव को देखते हुए संपत्ति कर की दरों में तत्काल बढ़ोतरी नहीं की जाएगी। चूंकि कर दरों में वृद्धि का अंतिम निर्णय मुख्यमंत्री ममता बनर्जी द्वारा लिया जाएगा, इसलिए राजनीतिक रणनीति भी इस प्रक्रिया में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। 2024 के लोकसभा चुनावों में तृणमूल कांग्रेस ने कोलकाता नगर निगम के लगभग 47 वार्डों में पिछड़ाव दर्ज किया था। इसे ध्यान में रखते हुए यह संभावना जताई जा रही है कि सरकार कर वृद्धि को फिलहाल टाल सकती है।
नगर निगम के अधिकारियों का मानना है कि कर पुनर्मूल्यांकन प्रक्रिया पूरी होने में डेढ़ से दो साल लग सकते हैं। इसलिए आगामी विधानसभा चुनाव से पहले कर वृद्धि लागू करने का दबाव नहीं रहेगा। हालांकि, इससे पहले पार्किंग शुल्क बढ़ाने के प्रयासों में भी राजनीतिक दबाव के चलते महापौर को निर्णय वापस लेना पड़ा था। इस बार नगर निगम के राजस्व अधिकारी पहले से ही सतर्क रणनीति अपनाना चाहते हैं ताकि भविष्य में किसी असहज स्थिति से बचा जा सके।
हिन्दुस्थान समाचार / ओम पराशर