भाजपा देवभूमि के स्वरूप और डेमोग्राफी को बचाने के लिए प्रतिबद्ध : महेंद्र भट्ट

- राज्य के इतिहास में सर्वाधिक सरकारी नियुक्ति देने वाले मुख्यमंत्री

देहरादून, 28 सितंबर (हि.स.)। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भटृ ने मुख्यमंत्री धामी की ओर से सख्त भू-कानून लाने की घोषणा का स्वागत किया है। महेंद्र भट्ट ने इसे देवभूमि के मूल स्वरूप और डेमोग्राफी बचाए रखने को लेकर पार्टी की प्रतिबद्धता बताया है।

प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भटृ ने कहा कि राज्यहित में हमारी सरकार ने अनेकों ऐतिहासिक और साहसिक निर्णय लिए हैं और जनभावना अनुरूप भू-कानून और मूल निवास के मुद्दे का समाधान भी हम ही करेंगे। भू-कानून को लेकर कांग्रेस की नीयत हमेशा सवालों के घेरे में रही है। कल तक ये सड़कों पर प्रदर्शन करते थे आज इनके नेता नए नए तर्क गढ़ रहे हैं। साथ ही रोजगार पर सवाल उठाने वालों को याद दिलाया कि धामी राज्य के इतिहास में सबसे अधिक सरकारी नियुक्ति देने वाले सीएम हैं।

उन्होंने कहा कि राज्य निर्माण के पूर्व से भाजपा लगातार क्षेत्रीय पहचान और उत्तराखंड के मूल स्वरूप बनाए रखने के लिए कटिबद्ध है। लिहाजा जब भी हमारी सरकारें अस्तित्व में आई,इस विषय पर गंभीरता से प्रयास किए गए। यही वजह है कि राज्य में स्थापित भू-कानून को और अधिक सख्त बनाए जाने की सहमति जनमानस में स्थापित हुई है।

उन्होंने कहा कि राज्य में सीमित भू-संपदा होने के कारण भाजपा जनभावनाओं के अनुरूप उसका बेहतर प्रबंधन एवं सुरक्षा को अहम मानती है। यही वजह है कि हमारी सरकार की ओर से इस विषय पर उच्च स्तरीय समिति के माध्यम से रिपोर्ट तैयार कराई गई। जिस पर मुख्यमंत्री धामी के निर्देश पर सभी कानूनी पहलुओं को लेकर विचार विमर्श किया जा रहा है। साथ ही स्पष्ट भी किया कि जो लोग उत्तराखंड में पर्यटन,शिक्षा,उद्योग,व्यापार आदि विभिन्न क्षेत्रों में रोजगार सृजन करते हैं उनको चिंता करने की जरूरत नहीं है। लेकिन भू-माफियाओं और गलत मंशा से जमीन खरीदने वालों पर करारी चोट करने का काम यह कानून करने वाला है।

उन्होंने कहा कि इस मुद्दे पर मुख्यमंत्री धामी का आभार व्यक्त करते हुए सभी प्रदेशवासियों के चेहरे पर मुस्कान लाने वाला बताया। साथ ही जोर देते हुए कहा कि हमारी सरकार सख्त भू-कानून और मूल निवास के मुद्दे को लेकर बेहद गंभीर होकर कार्ययोजना को अंतिम रूप दे रही है। उन्होंने उम्मीद जताई अगले बजट सत्र में तक प्रदेशवासियों की भावनाओं के अनुरूप एक वृहद भू कानून का अस्तित्व सामने आ जाएगा।

कांग्रेस नेताओं के आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए उन्होंने कहा कि कांग्रेस कार्यकाल में बने भू-कानून में 2007 में परिवर्तन किया गया था और कई परिवर्तन किये गए थे। हालांकि पूर्व में बने कानूनों की उपयोगिता पर सवाल के बजाय आज कड़े भू-कानून की जरूरत है। वहीं डेमोग्राफिक चेंज की वास्तविकता को नजरंदाज नही किया जाना चाहिए और मुख्यमंत्री धामी इसे लेकर गंभीर हैं। लेकिन कांग्रेस इस सत्य को स्वीकार करने या इसका समर्थन के बजाय इस मुद्दे पर सवाल उठा रही है।

उन्होंने कहा कि हाल के तीन साल में धामी सरकार ने 17 हजार युवाओं को सरकारी नियुक्ति दी है। पारदर्शी परीक्षा के लिये कड़ा नकल कानून बनाया गया है। जिससे अब अनुचित साधनों से युवाओं के हक पर डाका डालना आसान नही होगा।

हिन्दुस्थान समाचार / राजेश कुमार

   

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