सांसद राघव चड्ढा ने राज्यसभा में बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचार का मुद्दा उठाया, कहा- सभी पार्टियां हमलों की निंदा करें.

-आम आदमी पार्टी के सांसद राघव चड्ढा ने राज्यसभा में हिंदू अल्पसंख्यकों पर हमले और इस्कॉन संत चिन्मय दास की अवैध गिरफ्तारी का मुद्दा उठाया।

- भारत सरकार से बांग्लादेश के साथ इस मामले पर उठाए गए कदमों की जानकारी मांगी गई।

- सभी दलों से इन घटनाओं की निंदा करने और कड़ा संदेश देने की अपील की।

नई दिल्ली, संसद के शीतकालीन सत्र के दौरान राज्यसभा में आम आदमी पार्टी (आप) के सांसद राघव चड्ढा ने बांग्लादेश में हिंदू अल्पसंख्यकों पर हो रहे अत्याचार और हाल ही में इस्कॉन संत चिन्मय दास द्वारा उठाए गए मुद्दे को लेकर सदन की कार्यवाही स्थगित करने का नोटिस दिया जी की गिरफ्तारी का मामला. उन्होंने सरकार से इस गंभीर मामले पर चर्चा करने की मांग की और बांग्लादेश सरकार से इस मामले में सख्त कदम उठाने की अपील की.

सदन में उठे ये अहम मुद्दे

1. हिंदू अल्पसंख्यकों पर हमले और अत्याचार

सांसद राघव चड्ढा ने कहा कि बांग्लादेश में हिंदू अल्पसंख्यकों पर लगातार हमले और अत्याचार हो रहे हैं. ये घटनाएँ न केवल मानवाधिकारों का उल्लंघन हैं, बल्कि धार्मिक स्वतंत्रता पर भी सीधा हमला हैं। उन्होंने सरकार से मांग की कि वह स्पष्ट करे कि इन घटनाओं पर क्या कदम उठाये जा रहे हैं.

2. चिन्मय दास जी की अवैध गिरफ्तारी

सांसद चड्ढा ने इस्कॉन संत चिन्मय दास जी की अवैध गिरफ्तारी को निंदनीय बताते हुए इसे धार्मिक स्वतंत्रता के खिलाफ बताया. उन्होंने पूरे सदन से अपील की कि सभी सांसद एक स्वर में इस गिरफ्तारी की निंदा करें और बांग्लादेश सरकार पर उन्हें तुरंत रिहा करने के लिए दबाव डालें.

3. बांग्लादेश सरकार से बातचीत का मुद्दा

राघव चड्ढा ने जानना चाहा कि बांग्लादेश में तख्तापलट के बाद भारत सरकार ने वहां हिंदुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए क्या कदम उठाए हैं। उन्होंने सरकार से इस मामले पर बांग्लादेश सरकार से हो रही बातचीत की जानकारी सदन को देने की मांग की.

हमले और अत्याचार की घटनाएं बेहद चिंताजनक हैं

सांसद राघव चड्ढा ने कहा, ''बांग्लादेश में हिंदू समुदाय पर हमले और अत्याचार की घटनाएं बेहद चिंताजनक हैं. यह सिर्फ एक समुदाय का मुद्दा नहीं है, बल्कि मानवाधिकार और धार्मिक स्वतंत्रता का सवाल है. सदन को एकजुट होकर इन घटनाओं की निंदा करनी चाहिए.'' चिन्मय दास जी की गिरफ़्तारी के ख़िलाफ़ प्रस्ताव पारित किया जाना चाहिए।”

सरकार से जवाबदेही की मांग करें

राघव चड्ढा ने सवाल उठाया कि बांग्लादेश में हिंदू समुदाय की सुरक्षा के लिए भारत सरकार ने अब तक क्या ठोस कदम उठाए हैं. उन्होंने सरकार से इस मामले पर विस्तृत जानकारी देने और सदन को आश्वस्त करने की मांग की कि इन घटनाओं को रोकने के लिए ठोस कदम उठाए जाएंगे.

सांसदों से एकजुटता की अपील

राघव चड्ढा ने सभी दलों के सांसदों से इस मुद्दे पर राजनीति से ऊपर उठकर एकजुट होने की अपील की. उन्होंने कहा कि सदन को न सिर्फ इस मुद्दे पर चर्चा करनी चाहिए बल्कि बांग्लादेश सरकार पर दबाव बनाने के लिए कड़ा संदेश भी देना चाहिए.

मुखर्जी राज्यसभा में लगातार मुखर रहते हैं

बता दें कि युवा सांसद राघव चड्ढा देश और समाज की समस्याओं को लेकर हमेशा चिंतित रहते हैं. वह लगातार इन समस्याओं को संसद में मुखरता से उठाते रहे हैं। इस शीतकालीन सत्र में ही उन्होंने पंजाब में बढ़ती नशे की समस्या और अमृतसर से नांदेड़, पटना, गुवाहाटी और धर्मशाला तक हवाई कनेक्टिविटी पर चिंता जताते हुए सवाल पूछे थे. जिस पर गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय और केंद्रीय नागरिक उड्डयन राज्य मंत्री मुरलीधर मोहोल ने लिखित जवाब दिया.

   

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