पेरिस ओलंपिक से बाहर होने पर सिंधु ने कहा-यदि पहला सेट जीत जाती तो नतीजा कुछ और होता

पेरिस, 2 अगस्त (हि.स.)। भारत की स्टार शटलर पीवी सिंधु का मानना ​​है कि अगर वह पहला सेट जीत जातीं तो पेरिस ओलंपिक में महिला एकल स्पर्धा के प्री-क्वार्टरफाइनल का परिणाम अलग हो सकता था।

छठी वरीयता प्राप्त चीनी शटलर ही बिंग जियाओ के खिलाफ राउंड ऑफ 16 में सिंधु को हार का सामना करना पड़ा। महिला एकल स्पर्धा में उनका अभियान सीधे सेटों में 21-19, 21-14 से हार के साथ समाप्त हुआ। पहला सेट काफी करीबी मुकाबला था, भले ही जियाओ ने सेट के शुरुआती चरणों में अच्छी बढ़त हासिल कर ली थी, लेकिन सिंधु ने वापसी करते हुए स्कोर 19-19 से बराबर कर दिया।

शुरुआती सेट का निर्णायक क्षण तब आया जब सिंधु ने 20वें अंक के लिए निर्णय को चुनौती दी। शटलकॉक लाइन पर आ गया, जिससे चीनी शटलर को गेम में आगे बढ़ने का मौका मिल गया। जियाओ ने पहला सेट और अंततः गेम अपने नाम कर लिया। मैच के बाद सिंधु ने महसूस किया कि अगर वह पहला सेट जीत जाती तो नतीजा अलग हो सकता था।

सिंधु ने मैच के बाद कहा,हाँ, मुझे लगता है कि यह दुखद है कि मैं वह परिणाम नहीं पा सकी जो मैं चाहती थी। ओलंपिक में, हर कोई जीतना चाहता है, लेकिन दुर्भाग्य से, ऐसा नहीं हो सका, या यह मेरे लिए सही नहीं रहा। पहला गेम थोड़ा अलग हो सकता था, खासकर, मुझे लगता है कि 19-19 के स्कोर पर, यह किसी का भी खेल हो सकता था। मैंने इसे चुनौती दी। यह अच्छा होता अगर यह मेरे पक्ष में होता, लेकिन यह लाइन पर था, और यह 20-19 उसके पक्ष में था। शायद अगर मैं पहला सेट जीत जाती, तो यह अलग होता। मेरा आत्मविश्वास बहुत अधिक होता।

दूसरे सेट में, जियाओ के खेल की अथक शैली ने सिंधु को वापसी करने का कोई मौके नहीं दिया और खेल धीरे-धीरे सिंधु के हाथों से फिसल गया। जियाओ ने 21-14 से जीत के साथ दूसरा सेट सुरक्षित करके प्रभावशाली प्रदर्शन किया।

सिंधु ने कहा, मुझे लगता है कि दूसरे गेम में, शुरुआत अच्छी रही, और फिर उसने बढ़त बना ली। कुल मिलाकर, मुझे लगा कि यह एक दुखद दिन था, लेकिन मुझे अपना सिर ऊंचा रखना होगा।

हिन्दुस्थान समाचार / सुनील दुबे

   

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