राजनीतिक दलों ने व्यस्त समय में बिजली बढ़ोतरी के प्रस्ताव की निंदा की
- Admin Admin
- Nov 21, 2025
श्रीनगर, 21 नवंबर (हि.स.)। व्यस्त समय के दौरान बिजली की खपत पर 20 प्रतिशत अधिभार लगाने के जम्मू-कश्मीर सरकार के प्रस्ताव की राजनीतिक दलों ने तीखी आलोचना की है।
एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर एक पोस्ट में अपनी पार्टी के अध्यक्ष सैयद अल्ताफ बुखारी ने प्रस्ताव को कश्मीर के लोगों के लिए गंभीर अन्याय बताया।
उन्होंने लिखा पीक आवर्स के दौरान बिजली दरों पर 20% अधिभार लगाने का केपीडीसीएल का प्रस्ताव उन लोगों के साथ घोर अन्याय है जो पहले से ही आर्थिक संकट से जूझ रहे हैं। हमारी अधिकांश आबादी पर्यटन और बागवानी पर निर्भर करती है जिन क्षेत्रों को इस साल भारी नुकसान हुआ है। अन्य व्यवसाय भी गिरावट में हैं। ऐसे समय में सुबह और शाम के लिए बिजली शुल्क बढ़ाना जब परिवार कड़ाके की ठंड में बिजली पर सबसे अधिक निर्भर होते हैं को उचित नहीं ठहराया जा सकता है।
बुखारी ने कहा कि इस तरह के उपाय को लागू करने से पहले लोगों की आर्थिक कठिनाइयों पर विचार करना सरकार का नैतिक कर्तव्य है।
उन्होंने कहा कि कठोर सर्दियों के दिन नजदीक आने के साथ, मैं अधिकारियों से आग्रह करता हूं उन लोगों पर कुछ दया दिखाएं जो पहले से ही बोझ से दबे हुए हैं और पीड़ित हैं।
पीपुल्स कॉन्फ्रेंस के राज्य सचिव शेख मुहम्मद इमरान ने भी अधिभार के प्रस्ताव के लिए नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेतृत्व वाली सरकार की आलोचना की।
इमरान ने लिखा कि सरकार ठीक उस समय 20 प्रतिशत टैरिफ बढ़ोतरी पर जोर दे रही है जोजब लोगों को बिजली की सबसे ज्यादा जरूरत है। और उमर अब्दुल्ला उम्मीद करते हैं कि हर कोई चुप रहेगा। उन्हें क्या लगता है कि क्या होगा चरम घंटों के दौरान ठंड और अंधेरे में बैठे परिवार यह अभियान के दौरान उनके द्वारा किए गए वादों के साथ पूरी तरह से विश्वासघात है।
उन्होंने सरकार पर चुनावी वादों से मुकरने का आरोप लगायाl
उन्होंने कहा कि हमें 200 यूनिट मुफ्त देने का वादा किया गया था। फिर भी वही मुख्यमंत्री जो बिजली विभाग के प्रमुख भी हैं अब उच्च दरों के लिए बहस कर रहे हैं। दोहरा मापदंड स्पष्ट है। वह जेकेएनसी के उपाध्यक्ष हैं और वही व्यक्ति हैं जिन्होंने 200 यूनिट की प्रतिज्ञा की वकालत की थी और अब वह इससे दूर जा रहे हैं।
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हिन्दुस्थान समाचार / राधा पंडिता



