धमतरी जिले में पल्स पोलियो अभियान: 21 दिसंबर को पांच वर्ष के बच्चों को पिलाई जाएगी पोलियो की दवा
- Admin Admin
- Dec 15, 2025
धमतरी, 15 दिसंबर (हि.स.)। जिले में बच्चों को पोलियो जैसी गंभीर बीमारी से सुरक्षित रखने हेतु पल्स पोलियो प्रतिरक्षण अभियान का आयोजन 21 दिसंबर को किया जाएगा। इस अभियान के अंतर्गत जिले के पांच वर्ष आयु वर्ग के सभी बच्चों को सुबह आठ बजे से शाम पांच बजे तक उनके निकटतम निर्धारित पोलियो बूथ पर पोलियो की खुराक पिलाई जाएगी।
जिले में कुल 772 पोलियो बूथों के माध्यम से एक लाख 10 हजार 553 बच्चों को पोलियो की दवा पिलाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। अभियान को सफल बनाने हेतु स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारियों के साथ-साथ आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, मितानिन, कोटवार, प्रशिक्षु महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ता तथा पैरामेडिकल विद्यार्थियों की ड्यूटी लगाई गई है। पोलियो की दवा की समय पर उपलब्धता और कार्य की प्रभावी निगरानी के लिए सभी पोलियो बूथों को सेक्टरों में विभाजित किया गया है तथा प्रत्येक सेक्टर के लिए एक पर्यवेक्षक नियुक्त किया गया है। इसके अलावा सभी विकासखंडों को जोन में विभाजित कर जिला स्तर के अधिकारियों को निरीक्षण एवं पर्यवेक्षण की जिम्मेदारी सौंपी गई है। अभियान की व्यापक पहुंच सुनिश्चित करने के लिए ग्रामीण क्षेत्रों के साथ-साथ शहरी इलाकों में बस स्टैंड, रेलवे स्टेशन सहित अन्य सार्वजनिक स्थलों पर भी पोलियो बूथ बनाए गए हैं। वहीं खदानों, ईंट-भट्टों, छात्रावासों, मदरसों एवं छूटे हुए क्षेत्रों में बच्चों को पोलियो की दवा पिलाने हेतु ट्रांजिट टीमों एवं मोबाइल टीमों का गठन किया गया है।
प्रथम दिवस 21 दिसंबर को बूथों पर दवा पिलाने के पश्चात 22 एवं 23 दिसंबर को सभी कार्यकर्ता घर-घर जाकर छूटे हुए बच्चों को पोलियो की खुराक पिलाएंगे। अभियान के दौरान जिला एवं विकासखंड स्तर पर कंट्रोल रूम स्थापित किए जाएंगे, जो 24 घंटे क्रियाशील रहेंगे। कंट्रोल रूम में प्रत्येक दो घंटे में प्रगति रिपोर्ट प्राप्त करने की व्यवस्था की गई है।अभियान के सफल क्रियान्वयन के लिए सभी मैदानी अमलों को आवश्यक प्रशिक्षण दिया जा रहा है। जिला प्रशासन एवं स्वास्थ्य विभाग द्वारा जिले के सभी अभिभावकों से अपील की गई है कि वे 21 दिसंबर को अपने पांच वर्ष के बच्चों को निकटतम पोलियो बूथ पर लाकर दवा अवश्य पिलाएं, ताकि पोलियो मुक्त समाज के लक्ष्य को साकार किया जा सके। साथ ही 22 एवं 23 दिसंबर को घर-घर भ्रमण के दौरान स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं का सहयोग कर छूटे हुए बच्चों को दवा पिलाने में सहभागिता निभाने का आग्रह किया गया है। यह अभियान बच्चों के उज्ज्वल एवं स्वस्थ भविष्य की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
हिन्दुस्थान समाचार / रोशन सिन्हा



