महिलाओं में अंडे न बनने से कम हो जाती है गर्भधारण की संभावना : डा. गुंजन गुप्ता
- Admin Admin
- Feb 06, 2025

मुरादाबाद आस्सटेटिक्स गायनेकोलॉजी सोसाइटी के तत्वावधान में आयोजित सेमिनार का आयोजन
मुरादाबाद, 6 फरवरी (हि.स.)। भारत में महिलाओं में इनफर्टिलिटी की समस्या बढ़ रही है। इसका सबसे बड़ा कारण महिलाओं की ओवरी में अंडों का न बनना है। सही तरह से अंडे न बनने से महिलाओं में प्रेग्नेंसी के चांसेस कम हो रहे हैं। यह बातें गुरुवार को मुरादाबाद आस्सटेटिक्स गायनेकोलॉजी सोसाइटी के तत्वावधान में आयोजित सेमिनार में नोएडा से आईं गुंजन आईवीएफ वर्ल्ड की संस्थापक और निदेशक व एमडी फ़्रकोग लंदन डॉ. गुंजन गुप्ता गोविल ने बतौर मुख्य वक्ता संबोधित करते हुए कही।
मुरादाबाद आस्सटेटिक्स गायनेकोलॉजी सोसाइटी के तत्वावधान में आज कांठ रोड स्थित एक होटल में सेमिनार सम्पंन हुई। जिसकी अध्यक्षता सोसाइटी की फाउंडर प्रेसिडेंट डॉ नीना मोहन, संस्था की अध्यक्ष डॉ अर्चना सिंह, सचिव डॉ रितिका अग्रवाल और कोषाध्यक्ष डॉ नेहा चंद्रा ने की। एमडी फ़्रकोग लंदन डॉ. गुंजन गुप्ता ने बताया कि समय से पहले अंडेदानी में अगर अंडा बनने की समस्या हो तो हम उसको कैसे दवाई के द्वारा ठीक कर सकते हैं और अंडेदानी की अंडे पैदा करने की क्षमता कम हो जाए तो उसको हम कैसे दवाई के द्वारा बढ़ा सकते हैं और मां बनने का सौभाग्य प्राप्त कर सकते हैं। उन्होंने आगे कहा कि अगर महिलाओं के अंडाशय में अंडों की संख्या कम है या अंडे अच्छी तरह से काम नहीं कर रहे हैं, तो महिलाओं में बांझपन हो सकता है। भारत में महिलाओं में इनफर्टिलिटी की समस्या बढ़ रही है। इसका सबसे बड़ा कारण महिलाओं की ओवरी में अंडों का न बनना है। सही तरह से अंडे न बनने से महिलाओं में प्रेग्नेंसी के चांसेस कम हो रहे हैं।
डॉ. गुंजन गुप्ता ने आगे बताया कि एक रिसर्च के अनुसार महिलाओं की उम्र अंडे की गुणवत्ता पर बहुत असर डालती है। जैसे-जैसे उम्र बढ़ेगी, वैसे -वैसे ओवरी में अंडे बनने की क्षमता कम होती जाएगी। यदि किसी महिला के शरीर में हार्माेन का लेवल गड़बड़ा जाए, यानि की हार्माेन की मात्रा कम या ज्यादा हो जाए, तो अंडाशय में अंडे सही से नहीं बनते। जिससे महिला के प्रेग्नेंट होने की संभावनाएं बहुत कम हो जाती हैं।
तीर्थंकर महावीर यूनिवसिर्टी हॉस्पिटल की डॉ शुभ्रा अग्रवाल ने बताया कि पहले ऑपरेशन के कारण दूसरी प्रेगनेंसी में क्या-क्या समस्याएं आती हैं और प्रोकेशन लेकर हम उनसे होने वाली प्रॉब्लम को जल्दी पहचान कर मरीज की जान बचा सकते हैं।
सेमिनार में इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की जोन उपाध्यक्ष डॉ बबीता गुप्ता, आईएमए मुरादाबाद की अध्यक्ष डॉ प्रीति गुप्ता, डॉ श्रुति खन्ना, डॉ लीना चौहान, डॉ प्रेमलता श्रीधर, डॉ अनीता रस्तोगी, डॉ निधि ठाकुर, डॉ मोना अग्रवाल आदि उपस्थित रहीं।
हिन्दुस्थान समाचार / निमित कुमार जायसवाल