जालौन, 6 दिसंबर (हि.स.)। केंद्र सरकार के द्वारा संचालित आयुष्मान योजना में सरकार ने 70 वर्षीय बुजुर्गों को इस योजना में शामिल करने का फैसला लिया है और इसको लेकर काम भी शुरू कर दिया गया है। जालौन जिले में तकरीबन 1 लाख बुजुर्गों को इस योजना से जोड़ने का लक्ष्य तय किया गया है जिसमें फिलहाल 5 हजार लोगों की ही जोड़ा जा सका है। वहीं, डीएम की सख्ती के बाद पंचायत मित्रों को काम पर लगाने के बाद अब थोड़ी तेजी आई है और रोजाना 200 से 300 ई- केवाईसी बुजुर्गों के आयुष्मान कार्ड बनाएं जा रहे हैं।
दरअसल, 70 वर्षीय बुजुर्गों को आयुष्मान योजना का लाभ दिलाने का लक्ष्य तय किया गया है। इसको लेकर जिले वार लक्ष्य तय किया गया है। जालौन में पंचायत स्तर पर कैंप लगाकर लोगों के आयुष्मान कार्ड बनाएं जा रहे हैं। जिले ने अब तक 1 लाख के सापेक्ष में सिर्फ 5000 कार्ड जारी किए गए हैं। फिलहाल डीएम राजेश कुमार पांडे की सख्ती के बाद अब इस अभियान को गति मिली है और अब तेजी को लोगों को जोड़ने का काम किया जा रहा है।
ओटीपी और फिंगर प्रिंट से बढ़ रही मुश्किलें
70 वर्षीय वृद्धजनों के आयुष्मान कार्ड बनाने में कुछ कठिनाई आ रही हैं। अधिकांश वृद्धजनों के आधार कार्ड मोबाइल नंबर से लिंक नहीं होता है। जिससे आधार ओटीपी के माध्यम से पंजीकरण ई केवाईसी संभव नहीं हो पा रहा है। इसके अलावा बायोमेट्रिक वेरिफिकेशन में भी फिंगर प्रिंट नहीं आने की वजह से पंजीकरण संभव नहीं हो पाता है। इसके साथ ही फेस वेरिफिकेशन में भी कठिनाई होती है क्योंकि आधार कार्ड में पुराने फोटो होते हैं जिसका मिलान वर्तमान के फोटो से नहीं हो पाता है। इस वजह से आयुष्मान कार्ड बनाने की रफ्तार धीमी है।
वहीं, सीएमओ एन डी शर्मा ने बताया कि 70 प्लस आयु वर्ग के लोगों के आयुष्मान कार्ड बनाने को पंचायत सहायकों को लगाया गया है। डीपीआरओ ने एडीओ पंचायत और सचिव को पर्यवेक्षण की जिम्मेदारी दी है। ब्लॉक चिकित्सा अधिकारी को अपने ब्लॉक के सीएचओ से बुजुर्गों का ई केवाईसी किए जाने के लिए निर्देश दिए हैं।
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हिन्दुस्थान समाचार / विशाल कुमार वर्मा