मेरा प्रयास संगीत सम्राट बैजू बावरा की भव्य मूर्ति हो स्थापित: सांसद यादव

*केवल पुण्यतिथि एवं जन्म जयंती पर याद आते हैं संगीत सम्राट*

चंदेरी, 14 फ़रवरी (हि.स.)। चंदेरी की महान विभूति संगीत सम्राट बैजू बावरा ने अपने संगीत से सम्राट अकबर का मन मोह लिया था। अकबर के नवरत्नों में से एक तानसेन को संगीत प्रतियोगिता में लोहा मानने पर विवश करने वाले संगीत सम्राट बैजू बावरा का समाधि स्थल उपेक्षित रहा है। लेकिन अब स्थानीय सांसद ने बैजू बावरा के स्मारक के निर्माण की बात कही है, जिससे संगीत प्रेमियों में आशा जगी है।

एक दिवसीय कार्यक्रम में नगर भ्रमण पर आए गुना शिवपुरी सांसद डॉक्टर कृष्णपाल सिंह यादव ने चंदेरी आगमन पर किला कोठी स्थित संगीत सम्राट बैजू बावरा की समाधि स्थल पर उनकी पुण्यतिथि पर श्रद्धांजलि अर्पित की। साथ ही उन्होंने कहा कि संपूर्ण भारतवर्ष में हमारी सरकार धार्मिक क्षेत्र, पर्यटन क्षेत्र , शहीद स्मारकों, महान विभूतियों के मंदिर एवं स्मारकों के जीर्णोद्धार,विस्तार नवीनीकरण के लिए लगातार प्रयास कर रही है। उन्होंने कहा कि मैं आज ही चंदेरी स्थित महान संगीत सम्राट की समाधि स्थल के विस्तार एवं विकास को लेकर प्रस्ताव भिजवाता हूं तथा मेरा भरपूर प्रयास रहेगा कि इस महान विभूति की समाधि स्थल पर एक भव्य प्रतिमा स्थापित हो।

संगीत प्रेमियों को बना तीर्थ

बैजू बावरा का स्मारक देश-विदेश के संगीत प्रेमियों तथा कलाकारों के लिए तीर्थ बना हुआ है। यहां पर अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त गायक कैलाश खेर, अनूप जलोटा, पदमश्री से सम्मानित गुन्देचा बंधु पंडित उमाकांत गुन्देचा, पंडित रमाकांत गुन्देचा, ध्रुपद गायक जिया फरीदउद्दीन डागर, बांसुरी वादक ओम प्रकाश चौरसिया, वीणा वादक उस्ताद वहाउद्दीन डागर, गायक संजीव झा, मनीष कुमार बिहार बंधु जैसे एक नहीं अनेक नामचीन फनकार अपना सर झुका चुके हैं। प्रतिदिन नगर में आ रहे देसी विदेशी पर्यटक बैजू बावरा को नमन कर रहे हैं। मध्य प्रदेश शासन द्वारा बैजू बावरा के नाम पर *बैजू बावरा सम्मान* की स्थापना करना, बैजू बावरा का हक अदा करना है। जिससे बैजू बावरा आज तक वंचित रहे हैं।

हिन्दुस्थान समाचार/निर्मल

   

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