शिमला, 01 नवंबर (हि.स.)। राजधानी शिमला में दीपोत्सव पर पटाखों व आतिशबाजी से दस लोग झुलस गए है, जिसमें एक 9 वर्षीय बच्चा भी शामिल है, जबकि किन्नौर का दंपत्ति सिलेंडर में लगी आग की चपेट में आने से आई.जी.एम.सी. में उपचाराधीन है।
आई.जी.एम.सी. में 6 और डी.डी.यू. अस्पताल में 4 लोग पटाखों व आतिशबाजी के कारण झुलसने से उपचार के लिए आए है। जानकारी के अनुसार राजधानी में लोगों को दीवाली में पटाखे फोडऩा महंगा पड़ गया है। दीवाली की खुशियां मनाते समय 8 लोगों ने अपने हाथ जला बैठे। इसमें एक 9 वर्षीय बच्चा भी शामिल है, जिसके हाथ के साथ चेहरा भी झुलस गया है। आई.जी.एम.सी. शिमला में जलने के कारण 6 लोग उपचार के लिए आई.जी.एम.सी. पहुंचे हैं। इसमें 9 वर्षीय बच्चे का चेहरे के साथ हाथ, तीन लोगों के हाथ, जबकि दो लोग गैस सिलेंडर में लगी आग की चपेट में आने से इलाज के लिए आई.जी.एम.सी. में भर्ती हुए है। इनमें एस.एन. शर्मा निवासी खलीणी, मंजीत निवासी तारा हाल, जयप्रकाश निवासी मल्याणा, जबकि 9 वर्षीय बच्चा संजौली शिमला का शामिल है। इसके अलावा गैस सिलेंडर में झुलसने वालों की पहचान खडक़ सिंह और उनकी पत्नी सपना के रूप में हुई है, जो किन्नौर के पूह के रहने वाले के रूप में हुई है।
उधर, डी.डी.यू. अस्पताल शिमला में भी चार लोग झुलसने के बाद उपचार के लिए आए है।
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हिन्दुस्थान समाचार / उज्जवल शर्मा