अंतरराष्ट्रीय कनेक्टिविटी परियोजनाओं के स्थान सर्वेक्षण को पूसीरे की मंजूरी

गुवाहाटी, 12 जून (हि.स.)। भारतीय रेल ने हाल ही में बांग्लादेश, नेपाल जैसे पड़ोसी देशों को जोड़ने वाले 14 नए रेलवे संपर्क मार्गों और पूर्वोत्तर की ओर वैकल्पिक मार्गों के लिए अंतिम स्थान सर्वेक्षण (एफएलएस) को मंजूरी दी है। स्वीकृत अंतिम स्थान सर्वेक्षण की कुल लंबाई 1275.50 कि.मी. है। बांग्लादेश और नेपाल को जोड़ने वाली नई रेल लाइनों के लिए अंतिम स्थान सर्वेक्षण की कुल लंबाई 861 कि.मी. और 202.5 किमी है। पूर्वोत्तर की ओर प्रस्तावित वैकल्पिक मार्ग की लंबाई 212 कि.मी. होगी।

पूर्वोत्तर सीमा रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी सब्यसाची डे ने आज बताया है कि भारत और बांग्लादेश के बीच रेल संपर्क के एफएलएस के लिए स्वीकृत मार्ग बालुरघाट-हिली-पार्बतीपुर-कौनिया-लालमनिरहाट-मोगलहाट-गितालदह सेक्शन है। यह 32 कि.मी. का होगा, जिसमें से 14 कि.मी. नई रेल लाइन और 18 कि.मी. गेज परिवर्तन होगा। प्रस्तावित बालुरघाट-गितालदह-बामनहाट-सोनाहाट-गोलकगंज-धुबड़ी सेक्शन 56 कि.मी. लंबा होगा, जिसमें 38 कि.मी. नई रेल लाइन और 18 कि.मी. गेज परिवर्तन होगा। बालुरघाट-हिली-गायबंधा-महेंद्रगंज-तुरा-मेंदीपथार सेक्शन में 250 कि.मी. नई रेल लाइन का निर्माण होगा। प्रस्तावित मांगुरजान-पीरगंज-ठाकुरगांव-पंचगढ़-हल्दीबाड़ी मार्ग में 60 कि.मी. नई रेल लाइन का निर्माण होगा। प्रस्तावित डालखोला-पीरगंज-ठाकुरगांव-पंचगढ़-हल्दीबाड़ी सेक्शन में 80 कि.मी. नई रेल लाइन का निर्माण होगा। प्रस्तावित राधिकापुर-बिरोल-पार्बतीपुर-कौनिया-गितालदह सेक्शन 32 किलोमीटर लंबा होगा, जिसमें 14 किलोमीटर नई रेलवे लाइन और 18 किलोमीटर गेज परिवर्तन होगा।

प्रस्तावित बेलोनिया-फेनी-चट्टग्राम मार्ग 131 किलोमीटर लंबा होगा, जिसमें से 38 किलोमीटर नई रेल लाइन और 93 किलोमीटर गेज परिवर्तन होगा। गेदे-दरसाना-ईश्वरदी-टोंगी-भैरब बाजार-अखौरा-अगरतला मार्ग में 100 किलोमीटर गेज परिवर्तन होगा। प्रस्तावित पेट्रापोल-बेनापोल-नभारोन-जेसोर-रुपडिया-पद्माबिला-लोहागरा-काशियानी-शिबचर-मावा-निमतला-गेंडारिया-ढ़ाका-टोंगी-भैरब बाजार-अखौरा-अगरतला मार्ग के लिए 120 किलोमीटर गेज परिवर्तन की आवश्यकता होगी। उपरोक्त सभी प्रस्तावित मार्ग भारत और बांग्लादेश के बीच रेल संपर्क को और मजबूत करेंगे।

पूर्वोत्तर की ओर प्रस्तावित वैकल्पिक नये मार्ग के फारबिसगंज-लक्ष्मीपुर सेक्शन 17.60 किलोमीटर लंबा होगा। ठाकुरगंज-चटेरहाट सेक्शन के बीच नया मार्ग 24.40 किलोमीटर लंबा होगा। कुमेदपुर-आमबाड़ी फालाकाटा नए मार्ग के लिए 170 किलोमीटर नई रेलवे लाइन के निर्माण की आवश्यकता होगी।

भारत और नेपाल के बीच रेल कनेक्टिविटी के अंतिम स्थान सर्वेक्षण के लिए स्वीकृत मार्ग बिराटनगर-न्यू माल जंक्शन सेक्शन है, जिसके लिए 190 किलोमीटर नई रेल लाइन के निर्माण की आवश्यकता होगी और प्रस्तावित गलगलिया-भद्रपुर-कजली बाजार सेक्शन के लिए 12.5 किलोमीटर नई रेल लाइन के निर्माण की आवश्यकता होगी।

उपरोक्त नई प्रस्तावित रेल लाइनें चिकन-नेक हिस्से के माध्यम से कनेक्टिविटी को और अधिक मजबूत करेंगी।

भारत सरकार ‘नेबरहुड फर्स्ट’ पॉलिसी के तहत अपने सभी पड़ोसियों के साथ मैत्रीपूर्ण और परस्पर लाभकारी संबंध विकसित करने के लिए प्रतिबद्ध है। यह पॉलिसी बेहतर रेल/सड़क संपर्क, बुनियादी संरचना का विकास और लोगों के बीच बेहतर से बेहतर संपर्क को प्राथमिक रूप से बढ़ावा प्रदान करेगी। इससे पड़ोसी देशों के बीच बेहतर संचार भी विकसित होगा, जिससे व्यापार और पर्यटन गतिविधियों में उल्लेखनीय वृद्धि होगी।

हिन्दुस्थान समाचार/ श्रीप्रकाश/अरविंद

   

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