जगदलपुर : इन्द्रावती टाइगर रिजर्व में 8 से 10 बाघों के होने की संभावना

जगदलपुर, 22 जून (हि.स.)। इन्द्रावती टाइगर रिजर्व पार्क प्रबंधन के अनुसार बाघ की गणना फरवरी से शुरू होकर अप्रेल के अंतिम सप्ताह तक चली। वर्तमान में इस राष्ट्रीय उद्यान में 8 से 10 बाघ होने की संभावना है। डीएफओ इंद्रावती टाइगर रिजर्व बीजापुर संदीप बल्गा ने शनिवार को जानकारी देते हुए बताया कि इन्द्रावती टाइगर रिजर्व में बाघों की गणना का प्रथम चरण सफलता पूर्वक पूरा हो गया है। इसके लिए वाइल्ड लाइफ देहरादून के विशेषज्ञों सहित कई स्थानों से विशेषज्ञों की टीम पहुंची थी।

उन्होंने बताया कि गणना का रिपोर्ट बहुत जल्द ही आने वाली है, इससे बहुत जल्द ही इन्द्रावती राष्ट्रीय उद्यान में बाघों की संख्या स्पष्ट हो सकेगी। उन्होंने बताया कि इन्द्रावती टाइगर रिजर्व पार्क इलाके में कुटरू, भोपालपट्टनम और मद्देड के कोर व बफर एरिया में टीम पैदल पहुंचकर बाघ की गतिविधियों की पहचान की गई। टीम द्वारा इन्द्रावती टाइगर रिजर्व में फिलहाल 8 से 10 बाघों के होने की पुष्टि की है। बीजापुर के जंगल में बीते दिनों एक मादा बाघ के देखे जाने की पुष्टि हुई थी जिसके साथ एक शावक भी मौजूद था। इसके अलावा यहां पर तेलंगाना और आंध्रप्रदेश के सीमावर्ती इलाकों में भी बाघ के होने की पुष्टि हुई है।

बल्गा ने बताया कि वन भैंसे की कम होती संख्या को बचाने के लिए विभाग चिंतित है। इसके शुद्ध नस्ल की वंशवृद्धि के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। ब्रीडिंग सेंटर जैसे प्रयास किए जा रहे हैं। हाल ही में इंद्रावती टाइगर रिजर्व में छत्तीसगढ, ओडिशा, तेलंगाना, महाराष्ट्र के वन अधिकारियों की एक बैठक हुई है। इस बैठक में समन्वित कार्ययोजना तैयार करने की बात कही गई है। प्रदेश के 37 वन भैसे में से 17 इंद्रावती टाइगर प्रोजेक्ट में पाए गए हैं। इनके सर्वाधिक शुद्ध नस्ल के होने का अनुमान है। इंद्रावती टाइगर प्रोजेक्ट बीजापुर जिले के अंतर्गत आता है। इससे महाराष्ट्र की सीमाएं भी जुड़ी हुई हैं। दोनों ओर के घने जंगल व जलाशय की वजह से वन्य पशुओं की आवाजाही दोनों राज्यों मे बराबर होती रही है।

हिन्दुस्थान समाचार/ राकेश पांडे

   

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