चंबा में एनएचपीसी ने 182 लड़कियों को दी स्वरोजगार किट : श्रीपाद नाईक

शिमला, 02 दिसंबर (हि.स.)। हिमाचल प्रदेश के चंबा जिले में कॉर्पोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व (सीएसआर) के तहत एनएचपीसी द्वारा संचालित कौशल और स्व-रोजगार कार्यक्रमों पर केंद्र में चर्चा हुई। राज्यसभा में मंगलवार को भाजपा के प्रदेश महामंत्री और सांसद डॉ. सिकंदर कुमार ने सवाल उठाते हुए केन्द्रीय विद्युत मंत्री से पूछा कि चंबा में इस योजना के तहत स्वरोजगार किट प्राप्त करने वाली प्रशिक्षित लड़कियों का पूरा विवरण क्या है, और क्या इस पहल को अन्य जिलों व राज्यों तक विस्तार देने की कोई योजना है।

उन्होंने यह भी जाना चाहा कि क्या सरकार इन लड़कियों को रोजगार या उद्यमिता के अवसर उपलब्ध करवाने के लिए मार्केट लिंक स्थापित करने की भी रणनीति बना रही है।

सदन में जवाब देते हुए केन्द्रीय विद्युत राज्य मंत्री श्रीपाद नाईक ने बताया कि पिछले दो वर्षों में चंबा जिले में एनएचपीसी की सीएसआर पहल के अंतर्गत कुल 182 लड़कियों को स्वरोजगार किट वितरित की गई हैं। उन्होंने कहा कि कंपनी अधिनियम 2013 की धारा 135 के प्रावधानों के अनुसार कंपनियां अपने प्रोजेक्ट क्षेत्रों व विद्युत स्टेशनों के आसपास रहने वाले समुदायों को प्राथमिकता देते हुए सीएसआर गतिविधियां संचालित करती हैं। स्वास्थ्य, शिक्षा, स्वच्छता, ग्रामीण विकास, कौशल विकास, महिला सशक्तिकरण, खेल, कला और संस्कृति जैसे क्षेत्रों पर विशेष ध्यान दिया जाता है।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि लड़कियों को स्वरोजगार किट देने का उद्देश्य उन्हें आत्मनिर्भर बनाना और उद्यमिता के माध्यम से स्थायी आजीविका की ओर बढ़ने के लिए सक्षम बनाना है। उन्होंने स्पष्ट किया कि इस विशेष पहल के तहत अलग से रोजगार उपलब्ध कराने या बाजार से सीधे जोड़ने की कोई सरकार द्वारा पृथक योजना नहीं है।

उन्होंने चंबा में सीएसआर के तहत किट वितरण से जुड़ा विस्तृत विवरण सदन में प्रस्तुत किया और कहा कि एनएचपीसी भविष्य में भी इस तरह की पहल जारी रखेगी। हालांकि अन्य जिलों या राज्यों में कार्यक्रम के विस्तार की समयसीमा का उल्लेख अभी नहीं किया गया है।

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हिन्दुस्थान समाचार / उज्जवल शर्मा