जींद : सहकारी चीनी मिल में गन्ना पिराई शुरू

शुगर मील पिराई सत्र का शुभारंभ करते हुए।

जींद, 11 दिसंबर (हि.स.)। सहकारिता मंत्री डा. अरविंद शर्मा ने वीसी के माध्यम से अपने संदेश में कहा कि गन्ना पिराई सत्र किसानों की आय, कृषि गतिविधियों तथा ग्रामीण अर्थव्यवस्था के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण चरण है। किसानों के हितों को सर्वोच्च प्राथमिकता देना वर्तमान सरकार की नीति है।

सहकारिता, कारागार, निर्वाचन, विरासत एवं पर्यटन मंत्री डा. अरविन्द शर्मा गुरूवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जींद सहकारी चीनी मिल में गन्ना पिराई सत्र 2025-26 कार्यक्रम में जुडे और उन्होंने मिल के सफल, सुरक्षित एवं सुचारु संचालन के लिए अपनी शुभकामनाएं दी। हरियाणा विधानसभा के उपाध्यक्ष डा. कृष्ण मिड्ढा के बेटे रुद्राक्ष मिड्ढा ने उनके प्रतिनिधि के रूप में कार्यक्रम में शिरकत की। जींद सहकारी चीनी मिल में गन्ना पिराई सत्र 2025-26 का शुभारंभ गुरूवार को विधिवत यज्ञ के साथ किया गया। मंत्री डा. अरविन्द शर्मा ने कहा कि हरियाणा सरकार द्वारा गन्ने के दाम में 15 रुपये प्रति क्विंटल की वृद्धि करते हुए इसे 415 रुपये प्रति क्विंटल किया गया है, जो पूरे देश में सबसे अधिक है। इससे राज्य के किसानों को सीधा आर्थिक लाभ प्राप्त होगा।

उन्होने कहा कि जींद सहकारी चीनी मिल में लगभग 250 अधिकारी एवं कर्मचारी कार्यरत हैं तथा लगभग 1500 किसान इस मिल से जुड़े हुए हैं। मिल को कई बार राष्ट्रीय स्तर पर सम्मान प्राप्त हो चुका है। पिछले सीजन में 9.94 लाख क्विंटल गन्ने की पिराई कर 8.87 प्रतिशत रिकवरी के साथ 88,150 क्विंटल चीनी का उत्पादन किया गया था। इस वर्ष मिल द्वारा 15 लाख क्विंटल गन्ने की पिराई एवं लगभग 1.40 लाख क्विंटल चीनी उत्पादन का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।

इस सीजन के लिए 16 लाख क्विंटल गन्ने की बांडिंग की गई है, जिसमें लगभग आधा हिस्सा अगेती किस्मों का है। शरदकालीन बिजाई 2010 एकड़ में की गई है। जो पिछले वर्ष की तुलना में 512 एकड़ अर्थात 35 प्रतिशत अधिक है। इस वर्ष लगभग 200 नए किसान मिल से जुड़े हैं और आगामी पिराई सत्र में पिछले वर्ष की तुलना में 20 प्रतिशत अधिक गन्ना प्राप्त होने का अनुमान है। उन्होंने बताया कि गन्ना विकास योजना के तहत किसानों को सुविधाएं उपलब्ध कराने हेतु 313 लाख रुपये का प्रावधान किया गया है। जिसमें से 280 लाख रुपये अनुदान राशि तथा 30.80 लाख रुपये ब्याज मुक्त ऋण के रूप में निर्धारित किए गए हैं।

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हिन्दुस्थान समाचार / विजेंद्र मराठा