हिमाचल में तीन वर्षों में 1011 दुष्कर्म के मामले, 248 हत्याएं
- Admin Admin
- Nov 28, 2025
धर्मशाला, 28 नवंबर (हि.स.)। हिमाचल प्रदेश में पिछले तीन वर्षों के दौरान 1011 बलात्कार के मामले पुलिस विभाग में रिपोर्ट होकर सामने आए हैं। साथ ही राज्य में तीन वर्षों में 248 हत्याएं भी हुई हैं। विधानसभा सत्र में बंजार के विधायक सुरेंद्र शौरी की ओर से पूछे गए सवाल के जबाव में मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने उक्त जानकारी दी है। उन्होंने बताया कि तीन वर्षों में आत्महत्या के भी 203 मामले सामने आए हैं, उक्त तीनों ही गंभीर अपराधों के कुल 1462 मामले देवभूमि में हुए हैं।
मुख्यमंत्री सुक्खू ने बताया कि 1313 मामलों में छानबीन पूरी कर ली गई है, जबकि 149 केसों में जांच पड़ताल जारी है। उक्त 149 मामलों में से 148 की जांच राज्य पुलिस की ओर से की जा रही है, जबकि एक केस में सीबीआई की ओर से पड़ताल की जा रही है। मुख्यमंत्री ने बताया कि सीबीआई को किरण नेगी पत्नी विमल नेगी निवासी किन्नौर की शिकायत के आधार पर दर्ज मामले की सीबीआई की ओर से जांच की जा रही है। जिसमें विमल नेगी का संदिग्ध अवस्था में शव भाखड़ा बांध में 18 मार्च को मिला था। हिमाचल हाई कोर्ट के निर्देशों के तहत उक्त मामले में अब सीबीआई जांच कर रही है।
तीन वर्षों में एक अरब 20 करोड़ चिकित्सा बिलों की अदायगी
सदन में ऊना के विधायक सत्तपाल सत्ती द्वारा पूछे गए प्रश्र का जबाव देते हुए शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने सदन में जानकारी रखी कि पिछले तीन वर्षों में एक अरब 20 करोड़ 20 लाख 21 हज़ार रुपए के शिक्षा विभाग के कार्यरत व सेवानिवृत कर्मियों के बिलों की अदायगी की गई है। उन्होंने पिछले तीन वर्षों के सस्मत रिकार्ड भी सदन के पटल पर रखा है।
एंटी हेल नेट को 3829.67 की राशि आंबटित
आनी के विधायक लोकेंद्र कुमार की ओर से पूछे गए सवाल के जबाव में बागवानी मंत्री जगत सिंह नेगी जानकारी रखी है कि पिछले तीन वर्षों में राज्य भर के छह हज़ार 58 बागबानों को एंटी हेल नेट की सुविधा प्रदान की गई है। जिसमें 5542.77 लाख की राशि स्वीकृत की गई है, इसमें 3829.67 लाख की राशि आंबटित की जा चुकी है।
4112 प्राकृतिक आपदा पर मुआवजा, 356 लंबित
सदन में पांवटा साहिब के विधायक सुखराम चौधरी के पूछे गए सवाल के जबाव में राजस्व मंत्री जगत सिंह ने बताया कि प्राकृतिक आपदाओं से राज्य भर में कुल 4468 मौतें हुए हुई हैं। जिसमें चार हज़ार 112 परिवारों को आपदा राहत राशि प्रदान कर दी गई है, जबकि 356 मामले लंबित चल रहे हैं। राजस्व मंत्री ने बताया कि कुछेक औपचारिक्ताओं के चलते उक्त मामले लंबित चल रहे हैं, जिनका निपटारा किए जाने के प्रयास किए जा रहे हैं।
इंदौरा के 34 क्रॅशरों से पौने आठ करोड़ की कमाई
सदन में इंदौरा के विधायक मलेंद्र राजन के सवाल का जबाव देते हुए उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहा ने बताया कि इंदौरा क्षेत्र में ही 41 क्रॅशर है, जिसमें 34 स्टोन क्रॅशर मौजूदा समय में कार्यरत है। इसके तहत राज्य सरकार को पिछले तीन वर्षों में सात करोड़ 80 लाख से अधिक का राजस्व प्राप्त हुआ है। इंडस्ट्री मंत्री ने कहा कि हिमाचल व पंजाब की सीमाओं को लेकर भी विवाद है। इसी क्षेत्र में पंजाब के लोगों के भी क्रॅशर चल रहे हैं, जिसमें कई बार वह हिमाचल के क्षेत्र में भी माईनिगं कर रहे हैं। इसके बारे में पंजाब सरकार को उचित कार्रवाई करने के लिए लिखा गया है। मंत्री ने बताया कि इस क्षेत्र में रॉयल्टी की राशि बढ़ाए जाने को लेकर भी सरकार अब कार्य कर रही है।
धर्मशाला नगर निगम में 883 ट्रेड लाईसेंस जारी
धर्मशाला के विधायक सुधीर शर्मा द्वारा एमसी धर्मशाला से संबंधित सवाल का जवाब लोक निर्माण एवं शहरी मंत्री विक्रमादित्य ने सदन में रखा। उन्होंने बताया कि नगर निगम धर्मशाला के प्रावधानों के तहत दुकानदारों के ट्रेड लाईसेंस बनाए जा रहे हैं। जिसमें अब तक 883 दुकानदारों को ट्रेड लाईसेंस जारी किए गए हैं। मंत्री ने बताया कि विभिन्न बाहरी व्यापारियों के लिए कोई लाईसेंस जारी नहीं किए गए हैं, तो उनसे वसूली भी नहीं की गई है।
मुफ्त किताबों की छपाई के शिक्षा बोर्ड के 56 करोड़ पेंडिंग
प्रदेश के स्कूलों में वितरित की जाने वाली मुफ्त किताबों के लिए शिक्षा बोर्ड की राशि को लेकर बड़सर के विधायक इंद्रदत्त लखनपाल ने सवाल उठाया है। जिस पर शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने जानकारी रखते हुए बताया कि पिछले तीन वर्षों में निशुल्क किताबों का शिक्षा बोर्ड की छपवाई की राशि एक अरब 54 करोड़ 41 लाख से अधिक थी। जिसमें पिछले तीन वर्षों के दौरान शिक्षा विभाग की ओर से 98 करोड़ 67 लाख 45 हजार से अधिक की राशि का भुगतान कर दिया गया है। जबकि अब भी 55 करोड़ 73 लाख 58 हज़ार से अधिक की राशि का भुगतान किया जाना लंबित है। शिक्षा मंत्री ने बताया कि बजट के प्रावधान होने पर नियमों के तहत लंबित भुगतान को किया जाएगा।
इससे पूर्व आज हिमाचल विधानसभा के शीतकालीन सत्र के तीसरे दिन शुक्रवार को विधायकों ने सदन में अहम सवाल उठाए। हालांकि सदन में प्रश्रकाल के दौरान दूसरे दिन भी गतिरोध जारी रहा। जिसमें विपक्ष की ओर से राजस्व मंत्री के संदर्भ में लगातार नारेबाजी की गई और वह वेल तक पहुंच गए। बावजूद इसके प्रश्रकाल सत्तापक्ष के विधायकों के सवालों व मौखिक जवाब के साथ लिखित में भी जारी रहा।
हिन्दुस्थान समाचार / सतेंद्र धलारिया



