पूसीरे ने अररिया–ठाकुरगंज सेक्शन में 132 केवी ट्रांसमिशन लाइन का किया कमीशन

गुवाहाटी, 19 दिसंबर (हि.स.)। पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे (पूसीरे) ने रेलवे विद्युतीकरण अवसंरचना को और सशक्त करते हुए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की है। कटिहार मंडल के अंतर्गत अररिया ग्रिड सब-स्टेशन (जीएसएस) से अररिया ट्रैक्शन सब-स्टेशन (टीएसएस) तक 132 केवी ट्रांसमिशन लाइन का सफलतापूर्वक कमीशन किया गया है। 5.9 किलोमीटर लंबी यह ओवरहेड ट्रांसमिशन लाइन 17 दिसंबर 2025 को चालू की गई।

पूसीरे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी कपिंजल किशोर शर्मा ने शुक्रवार को बताया कि इस महत्वपूर्ण ट्रैक्शन पावर सप्लाई अवसंरचना के कमीशन होने से विद्युत आपूर्ति की उपलब्धता और परिचालन विश्वसनीयता में उल्लेखनीय वृद्धि होगी। इससे इलेक्ट्रिक ट्रेनों का संचालन अधिक सुचारु और क्षमता-वर्धित होगा। यह व्यवस्था कटिहार–जोगबनी सेक्शन तथा नव-निर्मित अररिया–ठाकुरगंज लाइन पर वर्तमान आवश्यकताओं के साथ-साथ भविष्य की यातायात वृद्धि को भी प्रभावी रूप से पूरा करेगी, जिससे उत्तर बिहार के इस क्षेत्र में ऊर्जा-कुशल, सुरक्षित और सतत इलेक्ट्रिक ट्रेन सेवाओं का संचालन सुनिश्चित होगा।

इससे पहले पूसीरे के प्रधान मुख्य विद्युत अभियंता (पीसीईई) ने बीते 30 अक्टूबर को कटिहार मंडल के अंतर्गत अररिया एवं अररिया कोर्ट–बीबीगंज सेक्शन का निरीक्षण एवं कमीशनिंग की थी। इस दौरान कुल 67.186 रूट किलोमीटर और 82.698 ट्रैक किलोमीटर को विद्युतीकृत किया गया, जो इस सेक्शन में विद्युतीकरण प्रक्रिया की दिशा में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हुआ।

132 केवी ट्रांसमिशन लाइन की कमीशनिंग और ओएचई के सफल चार्जिंग से एनएफआर द्वारा विद्युत ट्रैक्शन के लिए बिजली की विश्वसनीयता और अवसंरचना की मजबूती बढ़ाने के निरंतर प्रयासों को बल मिला है। यह उपलब्धि आसपास के सेक्शनों में हाल ही में पूर्ण हुए विद्युतीकरण कार्यों को भी पूरक बनाती है, जिससे निर्बाध इलेक्ट्रिक ट्रेन संचालन और क्षेत्रीय कनेक्टिविटी में सुधार का मार्ग प्रशस्त हुआ है। साथ ही, यह भारतीय रेल के 2030 तक नेट ज़ीरो कार्बन उत्सर्जन के लक्ष्य के अनुरूप है, जो आधुनिक, ऊर्जा-कुशल और पर्यावरण अनुकूल रेल परिवहन के प्रति एनएफआर की प्रतिबद्धता को दोहराता है।

हिन्दुस्थान समाचार / श्रीप्रकाश