हिसार : लंपी ग्रस्त गायों को बचाने के लिये प्रशासन ठोस कदम उठाये : सत्य काम आर्य

हिसार, 29 नवंबर (हि.स.)। नगर की अनेक धार्मिक, सामजिक संस्थाओं व गौशालाओं

से जुड़े समाजसेवी सत्य काम आर्य ने कहा है कि हिसार शहर में लंपीनामक बीमारी से ग्रस्त

गायों की बुरी हालत है। इस बीमारी की चपेट में आई गायों को समय पर इलाज न मिले तो वो

तड़प-तड़प कर मर जाती है। हिसार में इतनी गौशालाओं व गौसेवकों के होने के बाद भी इस

बीमारी से ग्रस्त होने वाली गौमाता के लिए इलाज को कोई प्रबंध नहीं है।

गौसेवक सत्य काम आर्य ने शनिवार काे कहा कि हाल में इस बीमारी से ग्रस्त कुछ गायों को

देखा गया। इस पर काफी प्रयास किये गये, किसी भी गौशाला में इन गायों के इलाज को कोई

प्रबंध नहीं मिला। आखिरकार चंदन नगर में एक स्थान पर इन गायों को रखा गया। सत्य काम

आर्य ने बताया कि लंपी स्किन डिजीज जिसे गांठदार त्वचा रोग भी कहते हैं, गायों और भैंसों

में होने वाला एक संक्रामक वायरल रोग है। यह मुख्य रुप से कीड़ों के काटने से फैलता

है और इसके लक्षणों में तेज बुखार, त्वचा पर गांठें और घाव शामिल हैं। इस बीमारी का

इलाज और रोकथाम के लिए टीकाकरण सबसे प्रभावी तरीका है और प्रभावित पशुओं को तुरंत अलग

कर देना चाहिए। उन्होंने बताया कि लंपी नामक यह बीमारी सर्दियों के आगमन पर गौ वंश

पर होती है और बहुत कष्ट दायक होती है। ऐसे में वैक्सीनेशन करने के साथ गौवंश को अकेले

में रखने के कुछ दिनों बाद गौवंश ठीक हो जाता है। इसके लिये एक बाड़े की आवश्यकता होती

है मगर प्रशासन व गौ सेवक इस ओर कोई भी ध्यान नहीं दे रहे हैं।

हिन्दुस्थान समाचार / राजेश्वर