तमलुक में ग्रामीण चिकित्सकों का चतुर्थ जिला सम्मेलन सम्पन्न

पूर्व मेदिनीपुर, 0३ दिसम्बर (हि. स.)। शहीद क्षुदीराम बोस की १३६वीं जयंती के अवसर पर तामलुक के सुवर्ण जयंती सभागार में प्रोग्रेसिव मेडिकल प्रैक्टिशनर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (पीएमपीएआई) की पूर्व मेदिनीपुर जिला समिति के आह्वान पर ग्रामीण चिकित्सकों का चतुर्थ जिला सम्मेलन उत्साह एवं उल्लास के मध्य सम्पन्न हुआ। कार्यक्रम का शुभारंभ शहीद क्षुदीराम बोस की प्रतिमा पर माल्यार्पण से किया गया।

सम्मेलन में यह मांग प्रमुखता से उठाई गई कि सभी इन्फॉर्मल हेल्थ केयर प्रोवाइडर्स (आईएचसीपी) का सरकारी स्तर पर निबंधन किया जाए, पंजीकृत चिकित्सकों द्वारा वैज्ञानिक प्रशिक्षण प्रदान कर स्वास्थ्यकर्मी के रूप में शपथ–पत्र दिया जाए तथा मेडिकल अधिकारी के पर्यवेक्षण में उन्हें सरकारी स्वास्थ्य सेवाओं में यथोचित उपयोग में लाया जाए। इसके साथ ही ड्रग नियंत्रण विभाग, पुलिस तथा प्रशासन द्वारा की जाने वाली अनावश्यक कार्रवाई एवं उत्पीड़न को तत्काल बंद करने की भी मांग की गई।

सम्मेलन की अध्यक्षता डॉ. जयदेव घड़ा ने की। जिला सचिव रामचंद्र सांतरा ने संपादकीय प्रतिवेदन प्रस्तुत किया। कार्यक्रम में संगठन के मुख्य सलाहकार एवं पूर्व सांसद डॉ. तरुण मंडल मुख्य वक्ता के रूप में उपस्थित थे। इसके अतिरिक्त राज्य अध्यक्ष डॉ. प्रांतोष मैती, सह–अध्यक्ष युगल पाखिरा, कोषाध्यक्ष डॉ. तिमिरकांति दास, मेडिकल सर्विस सेंटर के अखिल भारतीय सचिव डॉ. भवानी शंकर दास, सह–अध्यक्ष डॉ. विश्वनाथ पड़िया तथा तामलुक नगरपालिका के चेयरमैन चंचल खाड़ा मंचासीन थे। चंचल खाड़ा ने सम्मेलन की स्मारिका का भी लोकार्पण किया।

सम्मेलन में प्रस्तुत छह सूत्रीय प्रस्ताव, जिसमें स्वास्थ्य क्षेत्र में केंद्रीय बजट का १० प्रतिशत तथा राज्य बजट का २० प्रतिशत आवंटित करने, स्वास्थ्य सेवाओं के व्यापारीकरण पर रोक लगाने सहित अन्य मांगें सम्मिलित थीं, सर्वसम्मति से पारित किए गए।

अपने संबोधन में डॉ. तरुण मंडल ने शहीद क्षुदीराम बोस के जीवन के आदर्शों का स्मरण कर केंद्र एवं राज्य सरकारों की स्वास्थ्य नीतियों की समीक्षा की तथा ग्रामीण चिकित्सकों की उचित मांगों की पूर्ति हेतु संगठित आंदोलन की आवश्यकता पर बल दिया।

तामलुक नगरपालिका के चेयरमैन चंचल खाड़ा ने कहा कि बड़े अस्पतालों तक रोगियों को पहुंचने से पूर्व ग्रामीण चिकित्सकों द्वारा दी जाने वाली प्राथमिक चिकित्सा अत्यंत सराहनीय है।

तकनीकी सत्र में, एंटीबायोटिक के उचित उपयोग पर डॉ. भवानी शंकर दास ने विस्तृत व्याख्यान दिया तथा सीने के दर्द विषय पर मेडिसिन विशेषज्ञ डॉ. मेहताब अली ने मार्गदर्शन प्रदान किया।

अंत में सम्मेलन से नई जिला समिति की घोषणा की गई, जिसमें रामचंद्र सांतरा को अध्यक्ष तथा सुबीर मैती को सचिव चुना गया। सम्मेलन में ६०० से अधिक ग्रामीण चिकित्सकों ने सहभागिता दर्ज की।

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हिन्दुस्थान समाचार / अभिमन्यु गुप्ता