दिल्ली में 10 हजार सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स की तैनाती को मंजूरी, अबकी प्रदूषण निरोधी मुहिम में लगेगी ड्यूटी

नई दिल्ली, 9 नवंबर (हि.स.)। दिल्ली में उन करीब 10 हजार सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स को फिर से रोजगार मिलेगा, जिन्हें पिछले साल बस मार्शल के पद से हटा दिया गया था। दिल्ली सरकार ने प्रदूषण के खिलाफ लड़ने के लिए इन सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स और बस मार्शलों की तैनाती को मंजूरी दे दी है। एक सप्ताह के भीतर ये 10 हजार बस मार्शल यानि सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स ऑन-ड्यूटी होंगे। शनिवार को मुख्यमंत्री आतिशी ने प्रेस वार्ता के जरिए ये जानकारी साझा की।

मुख्यमंत्री ने कहा कि दिल्ली सरकार ने इन मार्शलों की नियुक्ति को मंजूरी प्रदान कर दी है। ये राजधानी में प्रदूषण के खिलाफ युद्ध में अगले चार महीने अहम भूमिका निभायेंगे। आतिशी ने कहा कि प्रदूषण हॉटस्पॉट्स की निगरानी से लेकर ओपन बर्निंग को रोकने और शिकायतों के फॉलो-अप में सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स की भागीदारी महत्वपूर्ण होगी।

उन्होंने कहा कि सोमवार से सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स की नियुक्ति की प्रक्रिया शुरू होगी, साथ ही दिल्ली सरकार जल्द इनकी स्थायी नियुक्ति का प्रस्ताव उपराज्यपाल को भेजेगी। उन्होंने कहा कि अरविंद केजरीवाल के मार्गदर्शन में हम ऐसे दिल्लीवासियों की हर समस्या का समाधान जरूर निकालेंगे। आतिशी ने आगे कहा कि दिल्ली में बसों में महिलाओं को सुरक्षा देने के लिए 2017-18 में दिल्ली सरकार ने दिल्ली की बसों में बस मार्शल तैनात किए। ये बस मार्शल इसलिए तैनात किए गए ताकि महिलाओं के साथ कोई छेड़छाड़ न हो, बदतमीजी न हो, डीटीसी बसों में बच्चे और बुजुर्ग सुरक्षित रहें।

उन्होंने कहा कि बसों में इन मार्शलों की नियुक्ति से महिलाओं-बुजुर्गों-बच्चों को जो सुरक्षा मिली, इसका कई प्रमाण दिल्लीवालों ने देखा। मार्शलों ने बस में महिलाओं के साथ होने वाली बदतमीजी को रोका, किसी बच्चे के अपहरण होने के प्रयास को रोका, बुजुर्गों की मदद की। इसके बावजूद भाजपा को महिलाओं-बुजुर्गों-बच्चों की सुरक्षा नहीं जंची, गरीब घरों के 10 हजार युवाओं को मार्शलों के तौर पर काम मिला, जो अच्छा नहीं लगा। नतीजतन, भाजपा ने षड्यंत्र रचकर अपने अफसरों के माध्यम से अप्रैल 2023 से इन बस मार्शलों की तनख्वाह रोक दी।

मुख्यमंत्री ने कहा कि तब दिल्ली सरकार के मंत्रियों ने और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बार-बार अफसरों को आदेश दिए कि बस मार्शलों को तनख्वाह मिलनी चाहिए। इसके बावजूद भाजपा ने इनकी तनख्वाह नहीं मिलने दी और अक्टूबर 2023 में भाजपा ने अपने अफसरों के माध्यम से इन बस मार्शलों और सिविल डिफेंस वालंटियर्स को नौकरी से निकलवा दिया।

अंत में आतिशी ने कहा कि इधर चार महीने प्रदूषण के खिलाफ युद्ध में सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स अपनी भागीदारी देंगे। सोमवार से इन्हें कॉल-आउट नोटिस जारी किया जाएगा। उसके बाद ये अलग अलग जिलाधिकारियों के कार्यालयों में जाकर अपना रजिस्ट्रेशन करा सकेंगे। रजिस्ट्रेशन के 2-3 दिन के भीतर इनकी प्रदूषण के खिलाफ युद्ध में तैनाती कर दी जाएगी।

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हिन्दुस्थान समाचार / कुमार अश्वनी

   

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