सिरसा: कश्मीर पर तीसरे देश की मध्यस्थता स्वीकार नहीं: सैलजा
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- May 14, 2025

सिरसा, 14 मई (हि.स.)। सिरसा की सांसद कुमारी सैलजा ने बुधवार को कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बयान के बाद से प्रधानमंत्री चुप हैं। पीएम ने ट्रंप के बयान को लेकर कोई जवाब नहीं दिया है क्या ऐसे में माना जाए कि भारत ने अमेरिका की मध्यस्थता को स्वीकार कर दिया है, देश की नीति में कोई बदलाव नहीं हो सकता क्योंकि नीति सरकार की नहीं देश की होती है।
ऐसे में सर्वदलीय बैठक बुलाकर प्रधानमंत्री को वस्तुस्थिति स्पष्ट करनी चाहिए क्योंकि देश के लोगों के मन में जो सवाल उठा रहे है उनका जवाब जरूरी है। सैलजा ने कहा है कि देश की जो नीति कांग्रेस राज में थी वहीं अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार में भी रही, नीति सरकार की नहीं राष्ट्र की होती है। कश्मीर मुद्दे पर किसी तीसरे देश की मध्यस्थता कभी स्वीकार नहीं की गई और न ही की जाएगी, ट्रंप ने जो भी बयान दिया उसका प्रधानमंत्री को जवाब जरूर देना चाहिए था, किन परिस्थितियों में ट्रंप को मध्यस्थता करने का अधिकार दिया गया। दावा किया जा रहा है कि अमेरिका ने व्यापारिक हितों को देखते हुए भारत को सीजफायर के लिए तैयार किया। पीएम मोदी से उम्मीद करते है कि वे ट्रंप के इस खुलासे का त्वरित और करारा जवाब देंगे।
अमेरिकी राष्ट्रपति ने दावा किया था कि वह कश्मीर पर मध्यस्थता करेंगे लेकिन कश्मीर पर मध्यस्थता हमें स्वीकार्य नहीं है। कश्मीर ऐसा मुद्दा है, जिस पर मध्यस्थता की बात कोई भी भारतीय स्वीकार नहीं कर सकता। पिछली तमाम सरकारों ने यह सुनिश्चित किया कि कश्मीर एक द्विपक्षी मसला है, उसका अंतरराष्ट्रीयकरण संभव नहीं है।
सांसद सैैलजा ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कहते है कि ऑपरेशन सिंदूर अस्थाई रूप से स्थगित हुआ है। शायद ऐसा पहली बार सुना कि सीजफायर कभी अस्थाई रूप से हुआ हो। सरकार को इस मामले पर संसद का एक सत्र भी बुलाना चाहिए, ताकि इस मुद्दे पर चर्चा हो, बातें रिकॉर्ड में रहे और पूरे देश को जानकारी हो कि सरकार की क्या नीति है? राहुल गांधी ने देश को कई बार चेताया। चाहे फिर वो कोरोना काल हो या फिर चीन से दोस्ती की बात हो। अजरबैजान और तुर्की खुलकर पाकिस्तान के साथ आए, लेकिन पहलगाम में हुए अन्याय के बाद भी हमारे साथ कोई देश खुलकर खड़ा नहीं हुआ। सरकार को इसका जवाब देना होगा।
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हिन्दुस्थान समाचार / Dinesh Chand Sharma