हमारी सांस्कृतिक विरासत के लिए अनहद नाद कार्यक्रम समुद्र मंथन के समान : श्रेयांश

-’हां रंग डारुंगी’ होली गीत से झूम उठा सभागार

प्रयागराज, 19 फरवरी (हि.स.)। बुधवार को स्पिक मैके और एचसीएल कॉन्सर्टस के संयुक्त तत्वावधान में सात दिवसीय ’अनहद-नाद’ कार्यक्रम के पांचवें दिन का आयोजन इविवि के संगीत एवं प्रदर्शन कला विभाग में हुआ।

इस अवसर पर स्पिक मैके के प्रदेश सचिव श्रेयांश शुक्ला ने सुनंदा शर्मा और सहयोगियों को धन्यवाद देते हुए कहा “हमारी सांस्कृतिक विरासत के लिए अनहद-नाद कार्यक्रम समुद्र मंथन के समान है। जिससे निकला अमृत वर्षों तक इसे मजबूती देगा।“

बतौर ऑडियो पार्टनर जेबीएल के सहयोग से आयोजित इस कार्यक्रम में सुनंदा शर्मा ने अपनी भाव विभोर प्रस्तुतियों से सभी का मन मोह लिया। होली गायन ’हां रंग डारुंगी’ पर तालियों की गड़गड़ाहट बाधा सी बन गईं। ’सड्डे मन भाव दिया..., गुलशन में बुलबुल चहंकी..., संगम की रेती पर बंगला छवा दो मोरे राजा...’ ने समां बांध दिया। इस दौरान पंडित विनोद मिश्रा ने तबले पर, अनुराग मिश्रा ने हारमोनियम पर और छात्रा शुभी पाण्डेय ने तानपुरे पर सहयोग दिया।

कार्यक्रम में कलाकारों और आगंतुकों का स्वागत विभागाध्यक्ष प्रेम कुमार मल्लिक ने किया और स्पिक मैके की प्रदेश समन्वयक मधु शुक्ला ने धन्यवाद ज्ञापित किया। कार्यक्रम का संचालन मोहम्मद सारिम ने किया। इस मौके पर रिटायर्ड अफ़सर वी.के. सिंह, रेनू जौहरी, शांभवी शुक्ला आदि मौजूद रहे।

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हिन्दुस्थान समाचार / विद्याकांत मिश्र

   

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