वाराणसी: महाकुंभ के पहले एनडीआरएफ ने ललिता घाट पर किया मॉक अभ्यास

एनडीआरएफ का मॉक अभ्यास:फोटो बच्चा गुप्ता

—गंगा नदी में स्नान के दौरान डूबते हुए व्यक्तियों को सुरक्षित बचाने का प्रदर्शन

वाराणसी, 04 जनवरी (हि.स.)। प्रयागराज महाकुंभ के दौरान वाराणसी में श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या को ध्यान में रखते हुए और किसी भी संभावित दुर्घटना,आपदा से सुरक्षा, बचाव के लिए 11 एनडीआरएफ ने पूरी तैयारी की है। शनिवार को एनडीआरएफ ने तैयारियों को परखने के लिए ललिता घाट पर उत्तर प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण और जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के साथ मिलकर मॉक अभ्यास किया।

पूरा मॉक अभ्यास गंगा नदी में स्नान के दौरान डूबते हुए व्यक्तियों को सुरक्षित बचाने पर केंद्रित रहा। अभ्यास में एनडीआरएफ को आपातकालीन प्रतिक्रिया के लिए सूचित किया गया। एनडीआरएफ टीम ने दुर्घटना स्थल पर पहुंचकर प्रारंभिक आकलन किया और तुरंत बचाव अभियान शुरू किया। एनडीआरएफ टीम ने विभिन्न बचाव तकनीकों का उपयोग करते हुए पीड़ितों को सुरक्षित निकाला। मेडिकल एजेंसियों ने प्राथमिक उपचार प्रदान किया, जिसके बाद पीड़ितों को बेहतर चिकित्सा सेवाओं के लिए अस्पताल पहुंचाया गया।

इस पूरे अभ्यास के दौरान इंसिडेंट रिस्पॉन्स सिस्टम (IRS) के दिशा-निर्देशों का पालन किया गया। इस अभ्यास का मुख्य उद्देश्य आपदा के समय सभी हितधारकों, जैसे जल पुलिस, फायर ब्रिगेड, एसडीआरएफ, और चिकित्सा विभाग आदि के बीच आपसी तालमेल को मजबूत करना और आपातकालीन स्थिति में त्वरित और समन्वित प्रतिक्रिया सुनिश्चित करना था। उल्लेखनीय है कि उपमहानिरीक्षक मनोज कुमार शर्मा के मार्गदर्शन में एनडीआरएफ की टीम काशी के गंगा घाटों की नियमित निगरानी करती है और किसी भी आपात स्थिति में तुरंत राहत और बचाव कार्य सुनिश्चित करती है।

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हिन्दुस्थान समाचार / श्रीधर त्रिपाठी

   

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