
जोधपुर, 08 अपे्रल (हि.स.)। राजस्थान हाईकोर्ट के न्यायाधीश मुन्नूरी लक्ष्मण ने ग्राम सेवा सहकारी समिति जगासर बीकानेर की अध्यक्ष सुनीता सीगड़ को सदस्यता से अयोग्य घोषित कर पद से हटाने को चुनौती देने की रिट याचिका को खारिज कर दिया है।
प्रार्थी की ओर से बहस करते हुए कहा गया कि डिप्टी रजिस्ट्रार को सदस्यता से इस आधार पर अयोग्य घोषित करने का अधिकार नहीं था कि वह समिति के कार्य क्षेत्राधिकार की स्थाई निवासी नहीं थी और कृषि भूमि भी नहीं थी और ऐसा अधिकार आर्बिट्रेटर को ही था। राज्य सरकार तथा रजिस्ट्रार और डिप्टी रजिस्ट्रार सहकारी समिति की ओर से बहस करते हुए अधिवक्ता डॉ. समीर श्रीमाली ने कहा कि राजस्थान सहकारी अधिनियम की धारा 28(13) के तहत डिप्टी रजिस्ट्रार के अधिकार में निहित है कि वह समिति के सदस्य की योग्यता या अयोग्यता की जांच कर अयोग्य घोषित कर सकता है और प्रार्थी को अयोग्य पाए जाने पर समिति की सदस्यता और अध्यक्ष पद से नियमानुसार हटाया गया है। उन्होंने कहा कि अधिनियम के तहत अपील का प्रावधान होने से रिट याचिका चलने योग्य नहीं है। राजस्थान उच्च न्यायालय के न्यायाधीश मुन्नूरी लक्ष्मण ने रिट याचिका खारिज करते हुए कहा कि पराजित उम्मीदवार की शिकायत पर की गई कार्रवाई को चुनावी विवाद नहीं बताया जा सकता है और डिप्टी रजिस्ट्रार की समस्त कार्रवाई विधिपूर्ण और नियमानुसार है। उन्होंने कहा कि प्रार्थी के पास रजिस्ट्रार के समक्ष अपील करने का वैकल्पिक उपचार उपलब्ध है इसलिए रिट याचिका खारिज की जाती है।
हिन्दुस्थान समाचार / सतीश