बुन्देलखण्ड में रोजगार की होगी भरमार, 338 निवेशकों ने दिखाई दिलचस्पी

बीडा का खाका

- बुन्देलखण्ड के लिए वरदान सिद्ध होगा बीडा, 1 लाख 5 हजार करोड़ रुपये के निवेश की जताई जा रही संभावना

झांसी,28 जून (हि.स.)। बीडा बुन्देलखण्ड के लिए वरदान साबित होने वाला है। युवाओं को रोजगार के साथ बुन्देलखण्ड के लोगों का पलायन भी अब थम सकेगा। बीडा (बुंदेलखंड इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट अथॉरिटी) को देश के सबसे बड़े औद्योगिक महानगर के रूप में विकसित किया जा रहा है।

इस परियोजना के तहत झांसी के 33 गांवों की जमीन किसानों से चार गुना अधिक सर्किल रेट पर खरीदी जा रही है। 23 विदेशी कंपनियों ने उत्तर प्रदेश के झांसी जिले में 1 लाख 5 हज़ार करोड़ रुपये से अधिक का निवेश करने का फैसला किया है। इन कंपनियों द्वारा स्थापित किए जाने वाले उद्योगों से हजारों लोगों को रोजगार मिलने की संभावना है।

बुंदेलखंड इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट अथॉरिटी को आकार देने के लिए सिंगापुर की एक कंपनी को जिम्मेदारी दी गई है। पूरी जमीन बीघा के हिसाब से आने के बाद सिंगापुर की कंपनी मास्टर प्लान बनाएगी जिसमें यह तय होगा कि कहां कितने क्षेत्रफल में आवास, उद्योग, पार्किंग, सीवेज सिस्टम, बिजलीघर, पुलिस चौकी, उद्यान आदि बनना है। इसके बाद ही जमीन आवंटन का काम शुरू किया जाएगा। लेकिन इसके पहले ही विभिन्न कंपनियों ने बीडा में निवेश की इच्छा जताना शुरू कर दिया है।

338 निवेशकों के प्रस्ताव

उद्योग विभाग की मानें तो 338 निवेशक झांसी में उद्योग स्थापित करने का प्रस्ताव दे चुके हैं, जिसमें से 322 निवेशकों ने 2,21,160 करोड़ रुपये के निवेश पर एमओयू (मेमोरेंडम ऑफ अंडरस्टैंडिंग) पर हस्ताक्षर भी कर दिए हैं। इनमें 23 विदेशी कंपनियां भी शामिल हैं। यही नहीं बीते दिनों इन कंपनियों के प्रतिनिधि यहां आकर उद्योग स्थापित करने की संभावनाएं तलाश चुके हैं और यातायात, कच्चे माल की आपूर्ति, परिवहन सुविधा तथा कुशल श्रमिकों की उपलब्धता से संतुष्ट हुए हैं। इन कंपनियों ने बीडा में ही निवेश करने की दिलचस्पी दिखाई है।

हिन्दुस्थान समाचार/महेश/मोहित

   

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