2025 में रिलीज़ हुई 'सितारे ज़मीन पर' ने बॉक्स ऑफिस पर तहलका मचाते हुए कई रिकॉर्ड तोड़े। देशभर के दर्शकों ने न सिर्फ़ इस फ़िल्म को दिल से अपनाया, बल्कि इसके संवेदनशील विषय ने हर उम्र और वर्ग के लोगों को गहराई तक प्रभावित किया। आलोचकों ने भी इसे आमिर ख़ान की सबसे ईमानदार और प्रभावशाली फिल्मों में से एक बताया।
आमिर ख़ान ने रखी दिल की बात
फ़िल्म की सफलता के बाद आमिर ख़ान ने इसके संदेश पर खुलकर बात की। उन्होंने कहा कि ‘सितारे ज़मीन पर’ मनोरंजन से कहीं अधिक है, यह एक ऐसी सच्चाई को सामने लाती है, जिसे समाज अक्सर देखना नहीं चाहता। आमिर ने कहा, यह फ़िल्म सिखाती है कि सामान्य और न्यूरोडाइवर्जेंट लोगों में फ़र्क नहीं करना चाहिए। हर इंसान बराबर है। भगवान ने हमें अलग बनाया है, लेकिन हर किसी की अपनी ताकत और कमजोरी होती है। यह कहानी बिना दिखावे, बिना सहानुभूति का बोझ डाले, हमें समझाती है कि हर व्यक्ति खुशी से जीने का अधिकार रखता है।
समावेशन की सोच को आगे बढ़ाने की उम्मीद
जैसे-जैसे फ़िल्म को दर्शकों का प्यार मिल रहा है, आमिर को उम्मीद है कि यह कहानी समाज में समावेशन यानी सबको साथ लेकर चलने की सोच पर बड़ी और जरूरी बातचीत शुरू करेगी। वे चाहते हैं कि लोग एक-दूसरे की अलग-अलग विशेषताओं को सम्मान, समझ और करुणा के साथ स्वीकार करें। आमिर खान प्रोडक्शन्स ने इस फ़िल्म के जरिए 10 उभरते सितारों को लॉन्च किया है, आरूष दत्ता, गोपी कृष्ण वर्मा, सम्वित देसाई, वेदांत शर्मा, आयुष भंसाली, आशीष पेंडसे, ऋषि शाहानी, ऋषभ जैन, नमन मिश्रा और सिमरन मंगेशकर। इन सभी की मौजूदगी ने फ़िल्म को और प्रभावी और जीवंत बनाया। बहुप्रतीक्षित यह फिल्म 20 जून 2025 को सिनेमाघरों में रिलीज़ हुई और आते ही दर्शकों की भावनाओं पर सीधे असर कर गई।
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हिन्दुस्थान समाचार / लोकेश चंद्र दुबे



