मृग छला स्नान के लिए पवित्र पुष्कर सरोवर में उमड़ा आस्था जनसैलाब

मृग छला स्नान के लिए पवित्र पुष्कर सरोवर में उमड़ा आस्था जनसैलाबमृग छला स्नान के लिए पवित्र पुष्कर सरोवर में उमड़ा आस्था जनसैलाब

अजमेर, 16 नवम्बर(हि.स.)। अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त पुष्कर मेला शुक्रवार को कार्तिक पूर्णिमा के महास्नान के साथ संपन्न होने जाने के बावजूद भी शनिवार को श्रद्धालुओं की भारी भीड़ देखने को मिली। शनिवार और रविवार के अवकाश को देखते हुए शहरी लोग हजारों की संख्या में कार्तिक पूर्णिमा के महास्नान के दूसरे दिन शनिवार को पुष्कर पहुंचे जहां सरोवर में हजारों श्रद्धालुओं ने मृग छला स्नान किया। इसी के साथ पुष्कर में बीते 5 दिनों से मौजूद ब्रह्मा जी समेत सभी 33 करोड़ देवी देवता फिर से अंतरिक्ष में लौट गए। कार्तिक पूर्णिमा के महास्नान के दूसरे दिन सरोवर मेें मृग छला स्नान का विशेष धार्मिक महत्व है। शास्त्रों के अनुसार पुष्कर में ब्रह्मा जी का पांच दिवसीय सृष्टि यज्ञ संपन्न होने के दूसरे दिन मृग की छाल से शुद्धि स्नान कराया गया तथा इस शुद्धि स्नान के बाद ही पुष्कर की पावन धरा में विद्यमान सभी देवी देवता अंतरिक्ष में लौट गए।

तीर्थ पुरोहितों ने श्रद्धालुओं को मृग की छाल से सरोवर के पवित्र जल के छींटे लगा शुद्धि स्नान कराया और सुबह से ही पुष्कर के पवित्र सरोवर के घाटों पर श्रद्धालुओं की भारी भीड़ देखने को । मिली शास्त्रों में कहा जाता है कि धार्मिक और आध्यात्मिक दृष्टि से शास्त्रों में माघ स्नान का बड़ा महत्व बताया गया है। माघ शीर्ष में प्रात:काल गंगा यमुना आदि पवित्र नदियों में स्नान करने से पापों का क्षय होता है। इसमें दान पुण्य रोगियों निशक्तों की सेवा करने से शुभ फल प्राप्त होते हैं और कहा जाता है कि कार्तिक का स्नान मृग छला के स्नान के साथ ही पूर्ण होता है। इसलिए शनिवार को सुबह से ही श्रद्धालुओ की पवित्र सरोवर के घाटों पर भारी भीड़ रही और श्रद्धालुओं ने पवित्र सरोवर में स्नान कर पूजा की और दान दक्षिणा कर जगतपिता ब्रह्मा मंदिर के दर्शन किए।

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हिन्दुस्थान समाचार / संतोष

   

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