मौसम विभाग की चेतावनी के बाद पर्यटन स्थली औली को खाली करवाने का विरोध

गोपेश्वर, 03 मार्च (हि.स.)। चमोली जिले में स्थित विश्व प्रसिद्ध हिमक्रीड़ा स्थली औली को मौसम विभाग की चेतावनी के बाद प्रशासन की ओर से खाली करवाने के आदेश का स्थानीय लोगों के साथ ही जोशीमठ बचाओ संघर्ष समिति ने विरोध किया। इस संबंध में सोमवार को उप जिलाधिकारी ज्योतिर्मठ के माध्यम से एक ज्ञापन मुख्यमंत्री को भेजा गया है।

संघर्ष समिति के संरक्षक अतुल सती का कहना है कि माणा में हुई हिमस्खलन की घटना के बाद मौसम विभाग की ओर से फिर से चमोली जिले में हिमस्खलन की चेतावनी जारी की गई है जिसके बाद प्रशासन ने औली में होटल व्यवसाय से जुड़े युवाओं को अपने होटल खाली करने के निर्देश जारी किये गये साथ ही यहां पर पर्यटकों के आने जाने पर भी रोक लगा दी गई है। जो सरासर गलत है।

उनका कहना है कि यह राज्य की आमदनी स्थानीय बेरोजगारों के रोजगार के अतिरिक्त अंतरराष्ट्रीय स्कीयर्स पर्यटकों एवं एडवेंचर खेलों के शौकीन लोगों का पसंदीदा पर्यटन केंद्र है। औली विश्व प्रसिद्ध स्की ढाल है। जहां बर्फबारी में ही पर्यटन होता है। यह विश्व की स्की के लिए सर्वाधिक सुरक्षित प्राकृतिक ढलान है। यहां पिछले सौ वर्षों में कोई प्राकृतिक दुर्घटनाए एवलांच आदि की घटना नहीं हुई है। इस लिहाज से पर्यटकों के लिए यह सर्वाधिक सुरक्षित स्थल है। यह स्की ढलान अंतरराष्ट्रीय मानकों को ध्यान में रखते हुए विकसित किया गया है।

उनका कहना है कि औली में पर्यटन शीतकाल में बर्फबारी के समय ही तीन माह होता है। तभी लोगों की आमदनी भी होती है। बहुत से बेरोजगार लोगों की आमदनी का यही मुख्य जरिया है। वर्तमान में मौसम के पूर्वानुमान के तहत जो चेतावनी जारी हुई है उसके चलते औली के सभी होटल खाली करवा दिए गए हैं। साथ ही पर्यटकों के भी वहां जाने पर पूर्णतया प्रतिबन्ध लगा दिया गया है। जिससे पर्यटन व्यवसाय को नुकसान होगा और यह भविष्य में भी पर्यटन के लिए नकारात्मक सन्देश देगा।

उनका कहना है कि औली में पर्यटन केंद्र के अतिरिक्त सेना और आईटीबीपी का भी कैम्प है। इस लिहाज से भी यह सुरक्षित क्षेत्र है। उन्होंने मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजकर मांग की है कि औली के इतिहास और सुरक्षा की भौगोलिक परिस्थिति को देखते हुए पर्यटकों की एवं स्थानीय पर्यटन रोजगार से जुड़े लोगों की स्थिति के मद्देनजर पर्यटकों के औली जाने आने रहने की अनुमति दी जाए। जिससे यहां का पर्यटन व्यवसाय सुचारू रहे। ज्ञापन देने वालों में विवेक पंवार, रविंद्र मार्तोलिया, नवीन मार्तोलिया, अतुल सती आदि शामिल थे।

हिन्दुस्थान समाचार / जगदीश पोखरियाल

   

सम्बंधित खबर