दिल्ली विधानसभा चुनाव प्रचार थमा, बुधवार काे पड़ेंगे वाेट, चुनाव मैदान में 699 उम्मीदवार



 नई दिल्ली, 3 फ़रवरी (हि.स.)। दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए चुनाव प्रचार सोमवार शाम 5 बजे थम गया। चुनाव के आखिरी दिन प्रमुख पार्टियाें ने अपनी पूरी ताकत झाेंक दी। दिल्ली विधानसभा में इस बार आम आदमी पार्टी (आआपा) और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के बीच में कड़ा मुकाबला दिख रहा है। इसी बीच कांग्रेस पार्टी भी अपना खोया जनाधार वापस पाने के लिए कड़ी मेहनत कर रही है। दिल्ली विधानसभा की 70 सीटों पर हाेने वाले चुनाव के लिए 5 तारीख को वाेट डाले जाएंगे। इस चुनाव में 699 उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं।

दिल्ली विधानसभा चुनाव में आआपा सभी 70 सीटाें पर चुनाव लड़ रही है। इस चुनाव में भाजपा ने 68 सीटों पर उम्मीदवार मैदान में उतारे हैं, जबकि दो सीटें उसने अपने गठबंधन के दलाें के लिए छोड़ी हैं। चुनाव आयोग ने दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए सभी तैयारियां लगभग पूरी कर ली हैं। दिल्ली में 1 करोड़ 56 लाख 14 हजार मतदाता हैं।

दिल्ली में मतदाताओं की कुल संख्या एक करोड़ 56 लाख 14 हजार है। इनमें से 83 लाख 76 हजार 173 पुरुष और 72 लाख 36 हजार 560 महिला मतदाता है। इसके अतिरिक्त 1,267 ट्रांस्जेंडर मतदाता और 12,736 सेवा मतदाता हैं। 79,885 दिव्यांग मतदाता हैं। वहीं पहली बार मतदान करने वाले युवा मतदाताओं की संख्या 2,39,905 है। इनके लिए आयोग ने 13766 मतदान केंद्र बनाए हैं। यह मतदाता दिल्ली के 699 उम्मीदवाराें का फैसला 5 फरवरी काे करेंगे।8 फरवरी को होने वाली मतगणना के लिए 11 जिलों में 19 गिनती केंद्र बनाए गए हैं।

दक्षिणी दिल्ली में कड़ी टक्कर

दक्षिणी दिल्ली क्षेत्र में 10 विधानसभा सीटे हैं। इनमें बिजवासन, पालम, महरौली, छतरपुर, देवली, अंबेडकर नगर, संगम विहार, कालकाजी, तुगलकाबाद, बदरपुर विधानसभा सीटें आती हैं। यहां कालकाजी, तुगलकाबाद, संगम विहार, छतरपुर महरौली और बदरपुर सीट पर कांटे की टक्कर है।

कालकाजी विधानसभा क्षेत्र में मुख्यमंत्री आतिशी लगातार दूसरी बार चुनाव लड़ रही हैं। उन्हें भाजपा उम्मीदवार रमेश बिधूड़ी और कांग्रेस की अलका लांबा से कड़ी टक्कर मिल रही है। वहीं इस सीट से पहली बार चुनाव लड़ रहे रमेश बिधूड़ी ने जीत के लिए भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ पूरी ताकत झोंक दी है। यह मुकाबला इतना रोचक हो चुका है कि रमेश और आतिशी एक दूसरे पर कई बार आरोप-प्रत्यारोप लगाते हुए चुनाव आयोग को चिट्ठी भी लिख चुके हैं।

इसके अलावा दूसरी सबसे बड़ी टक्कर नई दिल्ली लोकसभा सीट है। यहां से आआपा से अरविंद केजरीवाल, भाजपा से प्रवेश वर्मा और कांग्रेस से संदीप दीक्षित चुनाव लड़ रहे है। केजरीवाल नई दिल्ली विधानसभा सीट से चौथी बार चुनावी मैदान में उतरे हैं। केजरीवाल के सामने भाजपा से प्रवेश वर्मा और कांग्रेस के संदीप दीक्षित मजबूत दावेदारी पेश कर रहे हैं।

अस्तित्व की लड़ाई लड़ रही कांग्रेस

पिछले दो चुनावों में जीरो प्रदर्शन के बाद कांग्रेस अपने अस्तित्व की लड़ाई लड़ रही है। उसके नेता और उम्मीदवार अपने खोए हुए मतदाताओं, खासकर अल्पसंख्यकों और दलितों को वापस लाने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं। पार्टी लगभग दो दर्जन सीटों पर ध्यान केंद्रित कर रही है और इन क्षेत्रों में समर्थन वापस पाने के लिए अपने राष्ट्रीय और क्षेत्रीय नेताओं के जरिए प्रचार कर रही है।

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हिन्दुस्थान समाचार / कुमार अश्वनी

   

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