एक छोटी सी पहल बनी वंचित बच्चों के लिए शिक्षा और आशा का प्रतीक
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- Apr 13, 2025

जयपुर, 13 अप्रैल (हि.स.)। एक रिटायर्ड आर्मी ऑफिसर कर्नल राजेश भूकर और उनके सहयोगियों की एक छोटी सी पहल द्वारा संतोष सैनी के शौर्य सेवा संस्थान (एनजीओ) द्वारा स्थापित सावित्री बाई फुले पाठशाला के माध्यम से आर्थिक एवं अन्य सुविधाओं से वंचित बच्चों के लिए उल्लेखनीय कार्य किये जा रहे है। इसके तहत इन बच्चों के लिए शिक्षा, स्वच्छता, भोजन, कपड़े और अन्य आवश्यकताओं का ध्यान रखा जा रहा है। कच्ची बस्तियों में रहने वाले बच्चों के लिए आधार कार्ड भी बनवाए गए ताकि वे सरकारी योजनाओं का लाभ उठा सकें।
डिफेंस पीआरओ कर्नल अमिताभ शर्मा के अनुसार आज, 50 से अधिक बच्चे नियमित रूप से स्कूल जा रहे हैं और एक और नई पहल के तहत 11 छात्रों (लड़के और लड़कियाँ) को ज्ञान दीप सीनियर सेकेंडरी स्कूल में आगे की पढ़ाई के लिए शिक्षा के अधिकार (निःशुल्क) के अंतर्गत प्रवेश दिलवाया गया है। यह पहल इन बच्चों के लिए शिक्षा और आशा का प्रतीक बनकर उभरी है।
कर्नल राजेश ने इन बच्चों को स्नेह और अपने कीमती समय के साथ-साथ सहयोगियों की मदद से सभी संभावित संसाधन, शैक्षिक पुस्तकें, कपड़े, जूते और वित्तीय सहायता निरंतर कर रहे हैं, ताकि बच्चे शिक्षा से जुड़े रह सकें। संस्थान के संघर्ष के दिनों में, गरीब बच्चों के लिए शिक्षा के प्रति समर्पित और प्रेरणादायक व्यक्तित्व के धनी कर्नल राजेश इन बच्चों के लिए एक मजबूत समर्थन बनकर उभरे और हर संभव तरीके से मदद की। प्रारंभ में, स्कूल में केवल अस्थायी तंबू थे, जिससे बच्चों को तेज गर्मी और बारिश के मौसम में पढ़ाई में कई कठिनाइयों का सामना करना पड़ा। परिसर में शौचालय की सुविधाएं भी नहीं थीं। कर्नल राजेश ने इस तरह एक पहल की और सभी बच्चों के लिए शौचालय, ठोस टिन का शेड, उचित फर्श और हर बच्चे के बैठने के लिए फर्नीचर बनवाया तथा सभी आवश्यक सुविधाएँ सुनिश्चित की, ताकि वे बिना किसी परेशानी के अपनी शिक्षा जारी रख सकें। संतोष सैनी, द्वारा शुरू किए इस नेक कार्य में कर्नल राजेशऔर कई अन्य लोग भी सहयोग कर रहे हैं।
सन्तोष सैनी ने वर्ष 2009 में महिला सशक्तिकरण, बाल शिक्षा, और पशु कल्याण के क्षेत्र में काम करने के लिए शौर्य सेवा संस्थान (एनजीओ) की स्थापना की, और तब से यह एनजीओ विभिन्न सामाजिक पहलुओं पर काम कर रहा है।
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हिन्दुस्थान समाचार / राजीव