
मीरजापुर, 16 मार्च (हि.स.)। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक सोमेन बर्मा के निर्देशन में जनपद में चलाए जा रहे प्रोजेक्ट मिलन के तहत महिला परिवार परामर्श केंद्र को एक बड़ी सफलता मिली है। रविवार को जनपद के विभिन्न थाना क्षेत्रों से आए 10 बिछड़े दंपतियों को काउंसिलिंग के माध्यम से फिर से एक साथ रहने के लिए राजी किया गया। ये दंपति विभिन्न कारणों से लंबे समय से अलग रह रहे थे।
परिवार परामर्श केंद्र में समझाने और संवाद के जरिए इन दंपतियों के बीच आई गलतफहमियों को दूर किया गया। परामर्शदाताओं ने सकारात्मक संवाद, आपसी समझ और रिश्तों में सुधार पर जोर दिया, जिससे सभी जोड़े फिर से एक साथ रहने के लिए तैयार हो गए।
प्रोजेक्ट मिलन के तहत हुई इस काउंसिलिंग प्रक्रिया में महिला निरीक्षक शशि तिवारी, महिला उप निरीक्षक रीता यादव, महिला मुख्य आरक्षी ममता तिवारी और सावित्री यादव, महिला आरक्षी कविता पाल और सपना, ओपी सुनीता देवी के साथ सदस्यगण कृष्णा सिंह व निर्मला राय मौजूद रहे।
प्रोजेक्ट मिलन: एक नई उम्मीद
प्रोजेक्ट मिलन का उद्देश्य आपसी मतभेदों को दूर कर बिछड़े हुए दंपतियों को फिर से मिलाना और परिवारों को टूटने से बचाना है। परिवार परामर्श केंद्र द्वारा की जा रही इन प्रयासों से कई परिवारों को नया जीवन मिल रहा है, जिससे समाज में सकारात्मक संदेश जा रहा है।
समाज में खुशहाली की ओर एक कदम
परिवार परामर्श केंद्र के इस प्रयास की जनमानस में भी सराहना की जा रही है। पुलिस प्रशासन का यह मानना है कि इस तरह की काउंसिलिंग से पारिवारिक संबंध मजबूत होते हैं और घरेलू विवादों को कम करने में मदद मिलती है।
प्रोजेक्ट मिलन से अब तक कई परिवार हो चुके हैं एकजुट
प्रोजेक्ट मिलन के तहत पहले भी कई दंपत्तियों को फिर से मिलाया जा चुका है। इस तरह की पहल से समाज में जागरूकता बढ़ रही है और लोग अपने रिश्तों को समझदारी और धैर्य के साथ संभालने के लिए प्रेरित हो रहे हैं।
हिन्दुस्थान समाचार / गिरजा शंकर मिश्रा