असम राइफल्स में वारंट ऑफिसर लगाने के नाम पर दस लाख ऐंठे

जोधपुर, 25 जनवरी (हि.स.)। शहर के निकटवर्ती एकता नगर में रहने वाले युवक को उसके भाई की असम राइफल्स में वारंट ऑफिसर पद पर नौकरी लगाने के नाम बाप बेटे ने दस लाख की ठगी कर ली। ना तो नौकरी दिलवाई और ना ही रकम लौटा रहे है। बाप बेटे ने मिली भगत कर फर्जी कॉल लेटर भी जारी करवाया। पीडि़त ने अब मंडोर थाने में कोर्ट में इस्तगासा दायर फर्जीवाड़े का केस दर्ज कराया है। पुलिस ने अग्रिम पड़ताल आरंभ की है।

मामले में मेघवालों का बास गढ़सूरिया बोरूंदा हाल एकता नगर रमजान का हत्था बनाड़ निवासी अर्जुनराम पुत्र गुमानराम मेघवाल ने रिपोर्ट दी है। इसमें बताया कि पीपाड़शहर के जालका निवासी जबराराम पुत्र भोमाराम और उसके पुत्र रामकिशोर ने मिलकर उसके साथ दस लाख की ठगी कर ली। रिपोर्ट के अनुसार परिवादी के पास में 17 मई 23 को रामकिशोर और उसके पिता जबराराम का कॉल आया था। तब उन्होंने परिवादी के भाई दिलीप परिहार को असम राइफल्स टेक्निकल एंड ट्रेडसमैन रिक्रूटमेंट रैली मे वारंट ऑफिसर के पद पर गारण्टी से नौकरी लगाने का विश्वास दिलाया और कहा कि हम तेरे भाई को नौकरी लगा देगें।

नौकरी के एवज में करीबन 10 लाख रुपये की मांग की। रामकिशोर चौपडा के परिचित व मित्र होने के कारण परिवादी ने रामकिशोर व उसके पिता जबराराम पर विश्वास व भरोसा करते हुए ऑनलाइन फोन पे के जरिये अलग-अलग 21 मई 2024 से अलग अलग तारीखों तक करीबन कुल 7 लाख रुपये मोबाईल पर अदा कर दिए। आरोपिताें ने 6 फरवरी 24 को 3 लाख पहले ही रोकड़ ले लिए थे। इसके कुछ समय बाद प्रार्थी द्वारा रामकिशोर व उसके पिता जबराराम को फोन किया गया जिस पर उनके द्वारा कहा गया कि कुछ दिन तक रुकों तुम्हारे भाई की नौकरी के लिए आगे बात कर ली है और उन्हें रुपये भी भेज दिए है। आपके भाई की नौकरी का कॉल लेटर व ई-मेल के जरिये सूचना आ जायेगी। उसके बाद प्रार्थी कुछ दिन तक रूका। तब 22 नवंबर 2023 व 05 जुलाई 2024 को प्रोविजिनल अपॉइंटमेंट लेटर का कॉल लेटर आया। तब परिवादी को 22.11.2023 व 05.07.2024 को प्राप्त कॉल लेटर की सत्यता जानने के लिए विभाग जाने से पूर्व रोक लिया गया।

बाद में रामकिशोर चौपडा का कॉल व मैसेज आया और कहा कि असम राइफल्स टेक्निकल एंड ट्रेडसमैन रिक्रूटमेंट रैली वारंट ऑफिसर के पद की भर्ती रद्द कर दी गई और रामकिशोर ने यह भी कहा कि अनेक अभ्यर्थियों के फर्जी कॉल-लेटर जारी कर दिए है, इसलिए भर्ती रद्द कर दी गई है।

बाद में जब उनसे रुपये वापिस मांगे तो वे टालमटोल जवाब देने के साथ नौकरी लगवाने का आश्वासन देते रहे। आखिर में रुपये लौटाने से इंकार कर धमकाया और कहा कि उनके द्वारा ही फर्जी कॉल लेटर जारी करवाया गया था।

हिन्दुस्थान समाचार / सतीश

   

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