सारण, 12 दिसंबर (हि.स.)। जिले को पोलियो मुक्त बनाए रखने के संकल्प के साथ स्वास्थ्य विभाग 14 से 18 दिसंबर तक पल्स पोलियो अभियान का एक व्यापक जन-आंदोलन शुरू करने जा रहा है।
इस मिशन के तहत जिले के शून्य से पाँच वर्ष तक के 5,76,914 बच्चों को पोलियो की खुराक पिलाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। जिला प्रतिरक्षण पदाधिकारी डॉ सुमन कुमार के अनुसार यह अभियान केवल एक सरकारी कार्यक्रम नहीं बल्कि हर परिवार की जिम्मेदारी और समुदाय की सामूहिक जागरूकता से जुड़ा है। उन्होंने सभी माता-पिता से अपील की है कि वे अपने बच्चों को यह पूरी तरह सुरक्षित खुराक अवश्य दिलवाएं, क्योंकि पोलियोमुक्त समाज तभी संभव है जब हर बच्चा इस सुरक्षा कवच के अंदर शामिल हो।
अभियान को सफल बनाने के लिए स्वास्थ्य विभाग ने युद्धस्तर पर तैयारी की है। कुल 6 लाख 57 हजार 597 घरों तक पहुंचने का लक्ष्य रखा गया है। इसके लिए 1,481 डोर-टू-डोर टीमें घर-घर जाकर दवा पिलाने का कार्य करेंगी। 252 ट्रांजिट टीमें रेलवे स्टेशन, बस स्टैंड और भीड़-भाड़ वाले सार्वजनिक स्थानों पर तैनात रहेंगी, ताकि यात्रा कर रहे बच्चों को भी खुराक मिल सके। 36 मोबाइल टीमें स्लम बस्तियों, ईंट-भट्ठों, दूरस्थ ग्रामीण इलाकों और नदी किनारे बसे टोले-मोहल्लों में अभियान च
लाएंगी। पूरे अभियान की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए 543 सुपरवाइजरों को निगरानी की जिम्मेदारी सौंपी गई है। अभियान की तैयारी के तहत छपरा सदर अस्पताल परिसर से एक विशाल जागरूकता रैली निकाली गई। रैली को डॉ सुमन कुमार ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।
एएनएम स्कूल की छात्राओं और स्वास्थ्यकर्मियों ने ग्रामीण एवं शहरी लोगों को यह संदेश दिया कि पोलियो से बचाव के लिए सिर्फ दो बूंद ही पर्याप्त, लेकिन एक भी बच्चा छूटना नहीं चाहिए। स्वास्थ्य विभाग, यूनिसेफ, आशा कार्यकर्ता और आंगनबाड़ी सेविकाओं की सामूहिक साझेदारी के माध्यम से यह संदेश दिया जा रहा है कि पोलियो उन्मूलन बच्चों के भविष्य को सुरक्षित करने का एक सामूहिक प्रयास है।
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हिन्दुस्थान समाचार / धनंजय कुमार



