गुजरात सरकार का 3.32 लाख करोड़ रुपये का बजट विस में पेश

- 8 नई महा नगरपालिका बनाने की घोषणा, 162 नए सरकारी स्कूल बनेंगे

गांधीनगर, 2 फरवरी (हि.स.)। गुजरात विधानसभा में शुक्रवार को वित्त मंत्री कनूभाई देसाई ने अब तक का सबसे बड़ा 3,32,465 करोड़ रुपये का बजट पेश किया। यह बजट पिछले साल की तुलना में 31,444 करोड़ रुपये अधिक है। ब्लैक एंड गोल्ड कलर के ब्रीफकेस के साथ वे सुबह विधानसभा में पहुंचे। बजट भाषण में देसाई ने कहा कि गुजरात के इतिहास का यह सबसे बड़ा बजट है। इसमें वर्ष 2047 का रोडमैप तय किया गया है। गरवी, ग्रीन और गुणवंत गुजरात के सपने के साथ बजट पेश किया गया है।

वित्त मंत्री ने विधानसभा में घोषणा की कि राज्य में 8 नई महा नगरपालिका का गठन होगा, जिससे अब राज्य में कुल 16 महा नगरपालिका हो जाएगी। नए महा नगरपालिकाओं में नवसारी, गांधीधाम, मोरबी, वापी, आणंद, मेहसाणा, सुरेन्द्रनगर और वढवाण को शामिल किया गया है। देसाई ने कहा कि हमारी सरकार के लिए सुशासन यानी रामराज्य। राज्य में नई 2500 बसों को शुरू किया जाएगा। वर्ष 2047 तक गुजरात की अर्थव्यवस्था हाल 0.28 ट्रिलियन यूएस डॉलर से 3.5 ट्रिलियन यूएस डालर करने का लक्ष्य है। बजट में सामाजिक सुरक्षा, मानव संसाधन विकास, आधारभूत संरचना, आर्थिक गतिविधियों का विकास और ग्रीन ग्रोथ पांच स्तंभ निर्धारित किए गए हैं। नमो सरस्वती योजना में गरीब-मध्यवर्ग की छात्राओं को कक्षा 11 में 10 हजार रुपये और 12वीं कक्षा में 15 हजार रुपये की सहायता दी जाएगी।

बजट में राज्य के प्रत्येक नागरिक के लिए लिविंग वेल एंड अर्निंग वेल के स्लोगन के साथ विकसित गुजरात @ 2047 के विजन को साकार करना लक्ष्य तय किया गया है। अर्थव्यवस्था को प्रोत्साहित करने के लिए पूंजी खर्च 10.9 फीसदी बढ़ाकर 1,08615 करोड़ रुपये किया गया है। राज्य का विजन 5जी रखा गया है जिसका अर्थ है गरीब गुजरात, गुणवंत गुजरात, ग्रीन गुजरात, ग्लोबल गुजरात और गतिशील गुजरात। बजट का उद्देश्य जीवाईएएन यानी गरीब, युवा, अन्नदाता और नारी शक्ति पर विशेष बल दिया गया है। वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए 9821 करोड़ रुपये के राजस्व फायदा दिलाते हुए राज्य ने एक दशक से अधिक समय से राजस्व फायदा हासिल कर दोषरहित ट्रैक रिकॉर्ड बना है। जीएसडीपी का 3 फीसदी के लक्ष्य के सामने राजकोषीय घाटा 1.86 फीसदी से नीचे रखा गया है। जीएसडीपी के 27.1 फीसदी लक्ष्य के सामने सार्वजनिक कर्ज 15.27 फीसदी नीचे रखा गया है।

टॉप के 10 विभागों पर होने वाला खर्च

शिक्षा विभाग पिछले साल के बजट से 26.3 फीसदी बढ़ाते हुए 55,114 करोड़ रुपये, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग में 32.4 फीसदी बढ़ा कर इस साल 20,100 करोड़ रुपये, नर्मदा जल संपत्ति व जलापूर्ति विभाग में 25,069 करोड़ रुपये, शहरी विकास एवं गृह निर्माण विभाग 21,696 करोड़ रुपये, गृह विभाग में 10,378 करोड़ रुपये, मार्ग एवं मकान विभाग में 22,163 करोड़ रुपये, पंचायत व ग्रामीण गृह निर्माण व ग्राम विकास विभाग में 12,138 करोड़ रुपये, आदिवासी विकास विभाग में 4374 करोड़ रुपये, महिला व बाल विकास विभाग में 6885 करोड़ रुपये, उद्योग और खान विभाग में 9228 करोड़ रुपये का प्रावधान रखा गया है।

बजट के मुख्य बिन्दू

राज्य के लोगों के सर्वांगीण विकास के लिए पोषण, शिक्षा और स्वास्थ्य संबंधी योजनाओं पर विशेष बल दिया गया है। इसके तहत पोषण संबंधी योजनाओं में राशि बढ़ाई गई है। वर्तमान योजनाओं के साथ नई योजनाओं को शामिल कर चालू वर्ष की राशि 3200 करोड़ रुपये बढ़ा कर 5500 करोड़ रुपये किया गया है। इसके अलावा प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के तहत राज्य के 2551 एम्पेनल्ड हॉस्पिटल में मध्यम और निम्न आवक वर्ग के व्यक्तियों को 10 लाख रुपये तक का कैशलेस हेल्थ कवरेज प्रदान किया जाता है। इस योजना के लिए आगामी वित्तीय वर्ष में 3100 करोड़ रुपये बढ़ोतरी की गई है।

महत्व की योजनाएं

नमो लक्ष्मी योजना: इस योजना के तहत कक्षा 9 से 12 तक की छात्राओं के ड्रॉप आउट रेट कम करने के लिए प्रोत्साहन राशि प्रदान की जाती है। इसके तहत राज्य के करीब 10 लाख छात्राओं को लाभ प्रदान किया जाएगा। इस योजना के लिए सरकार नए वित्तीय वर्ष में 1250 करोड़ रुपये खर्च करेगी। इसके अलावा नमो सरस्वती विज्ञान साधना योजना में 250 करोड़ रुपये, नमोश्री योजना के तहत प्रति लाभार्थी 6000 रुपये बढ़ाकर 12000 रुपये किया जाएगा। जनरक्षक योजना के तहत 94 करोड़ रुपये, आंगनबाड़ी 2 योजना के तहत 1800 करोड़ रुपये, निर्मल गुजरात 2 के तहत 2500 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे।

हिन्दुस्थान समाचार/ बिनोद/संजीव

   

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