अंतरराष्ट्रीय सहकारिता वर्ष: वार्षिक कार्यशाला कैलेंडर का सहकारिता मंत्री किया विमोचन
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- Feb 04, 2025
देहरादून, 4 फरवरी (हि.स.)। संयुक्त राष्ट्र ने इस वर्ष को अंतरराष्ट्रीय सहकारिता वर्ष घोषित किया है। इस अवसर पर मंगलवार काे 'को-ऑपरेटिव बिल्ड ए बेटर वर्ल्ड थीम' पर सहकारिता मंत्री डॉ धन सिंह रावत ने अधिकारियों के साथ वार्षिक कार्य योजना और गतिविधियों के कैलेंडर का विमोचन किया।
सहकारिता मंत्री डॉ धन सिंह रावत ने इस अवसर पर कहा कि पूरा देश इस वर्ष अंतरराष्ट्रीय सहकारिता वर्ष मना रहा है, जिसको लेकर उत्तराखंड राज्य में वर्ष भर कार्यशाला और कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि किसान कल्याण दीनदयाल ऋण योजना सफल रही। इस योजना में अब तक 10 लाख 22 हजार करोड़ रुपये के किसान ऋण वितरित किए जा चुके हैं। इसके साथ ही प्रदेश में 2 लाख और 5 लाख ऋण देकर एक लाख महिलाओं को सरकार ने लखपति दीदी बनाया।
उन्होंने कहा कि प्रदेश के लिए यह गर्व का विषय है कि समितियों के कंप्यूटरीकरण में जो मॉडल अडॉप्ट किया गया था, उससे आज पूरे देश भर में समितियों को डिजिटाइजेशन किया जा रहा है।
मिलेट्स मिशन योजना की सफलता पर डॉ रावत ने बताया कि उन्होंने जब शुरुआत में मंडुवा और झंगोरा 18 रुपये की दर से खरीदा गया और आज प्रदेश में 42 रुपये की दर पर प्रति किलो इसकी खरीद की जा रही है, जिसका प्रतिफल यह है कि प्रदेश के किसान मिलेट्स से अपनी आमदनी में इजाफा कर रहे हैं। सहकारिता मंत्री ने निर्देश दिए कि 30 मार्च तक प्रदेश में 400 बहुउद्देशीय समितियाें का ग्राम सभा स्तर पर गठन करना है, यदि किसी जनपद में नवनिर्मित बहुउद्देशीय समितियों के गठन को लेकर लापरवाही बरती गई तो कार्रवाई की जाएगी।
उन्होंने बताया कि प्रदेश में 670 समितियां वर्तमान में कार्य कर रही हैं। इन सभी समितियाें में कार्यशालाएं, लाभार्थी कार्यक्रम, जन जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। कार्यक्रमों से 10 लाख 50 हजार किसानों से जोड़ने की योजना है। इस वर्ष चार सहकारिता मेले भी आयोजित किए जाएंग। वर्ष के अंत तक पूरे वर्ष भर आयोजित कार्यक्रमों को लेकर मंथन और अगले वर्ष 2026 की कार्य योजना तैयार की जाएगी। इसके अलावा पहाड़ी जनपदों के 42 ब्लॉकों में शत प्रतिशत ऑर्गेनिक फार्मिंग का लक्ष्य है। कार्यक्रम में अपर सचिव निबंधक सोनिका, नाबार्ड के महाप्रबंधक सुमन कुमार, आईसीएम निर्देशक अनिल तिवारी ने विचार व्यक्त किए।
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हिन्दुस्थान समाचार / Vinod Pokhriyal