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कोलकाता, 09 जनवरी (हि.स.)। अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण सुप्रीम कोर्ट के फैसले के मुताबिक चल रहा है। आगामी 22 जनवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भव्य तरीके से मंदिर का उद्घाटन करेंगे। सूत्रों के अनुसार, भाजपा 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले देश भर में हिंदुत्व को बढ़ावा देने के लिए बेताब है। लेकिन पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री धार्मिक विभाजन का खेल खेलने को तैयार नहीं हैं। मंगलवार को ममता बनर्जी ने दक्षिण 24 परगना जिले के जयनगर में एक सार्वजनिक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि राम मंदिर असल में भाजपा का हथकंडा है।
जयनगर की सभा में ममता ने कहा, ''कल मुझसे पूछा गया कि राम मंदिर पर आपका क्या बयान है, जैसे अब और कोई काम ही नहीं है। मैंने कहा कि धर्म प्रत्येक का अपना है। त्योहार सभी के लिए है। मैं उन त्योहारों में विश्वास करती हूं जो सभी को मिलजुल कर रहना सिखाते हैं। आप ऐसा नहीं करते। आप कोर्ट के आदेश पर ऐसा कर रहे हैं। यह लोकसभा चुनाव के पहले भाजपा का हथकंडा है।
ममता बनर्जी ने स्पष्ट कहा, ''बंगाल शांतिप्रिय राज्य है, बंगाल भेदभाव नहीं करता। मैं आपको वचन देती हूं कि जब तक तृणमूल कांग्रेस है, मैं बंगाल का विभाजन नहीं होने दूंगी। आपने देखा कि हमने एनआरसी के दौरान क्या आंदोलन किया, आपने देखा कि हमने सीएए के दौरान क्या आंदोलन किया। हमारे लोगों पर बहुत जुल्म हो रहा है।”
विश्व हिंदू परिषद का दावा है, राम मंदिर के उद्घाटन समारोह में बंगाल की मुख्यमंत्री को आमंत्रित किया गया है।हालांकि, मंदिर उद्घाटन में शामिल होने को लेकर ममता बनर्जी ने व्यावहारिक तौर पर साफ कर दिया कि वह भाजपा की नौटंकी में शामिल नहीं होंगी। हिन्दुस्थान समाचार /धनंजय /गंगा