हमारी सरकार राजस्थान में धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए बना रही सर्किट : मुख्यमंत्री

पाली, 19 फ़रवरी (हि.स.)। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश की पानी की समस्या पर भी काम कर रही है। सरकार ने आते ही ईआरसीपी पर काम किया। इससे 12 जिलों को फायदा होगा। इसी तरह शेखावाटी के जिलों के लिए यमुना के पानी की व्यवस्था पर सरकार ने हरियाणा से बात की है। हमारी सरकार राजस्थान में धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए सर्किट बना रही हैं।

मुख्यमंत्री शर्मा सोमवार को जाड़न के ओम आश्रम में बने ओम आकार के शिव मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि मंदिर की भव्यता देख खुशी हो रही है। यह मंदिर 28 साल में बना दुनिया का पहला ओम आकार का शिव मंदिर है। यह भारतीय वास्तु शिल्प व स्थापत्य का सामंजस्य है। पीएम मोदी देश के मंदिरों का जीर्णोद्धार कर रहे हैं। सनानत धर्म, सांस्कृतिक परंपरा को दुनिया में स्थापित कर रहे हैं। काशी विश्वनाथ, उत्तराखंड केदारनाथ धाम, उज्जैन का महालोककाल का भव्य जीर्णोद्धार किया है। हमारी सरकार भी राजस्थान में धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए सर्किट बना रही हैं। बेणेश्वर धाम, त्रिपुरा सुंदरी, सीता माता अभ्यारण्य को जोड़कर तीर्थ सर्किट बनाया जा रहा है, हमारी सरकार ने मंदिर जीर्णोद्धार के काम के लिए 300 करोड़ दिए हैं। खाटूश्याम, मेहंदीपुर बालाजी, पूंछड़ी का लौठा, सालासर धाम का जीर्णोद्धार किया गया है। महाराणा प्रताप का स्मारक बनाया जा रहा है, मीरांबाई के स्मारक का विकास किया जाएगा।

शिव मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम 10 फरवरी से शुरू हो गया था। इस दौरान शिव महापुराण कथा का आयोजन 10 से 18 फरवरी तक किया गया। संत चिदम्बरानंद सरस्वती ने कथा वाचन किया। कथा के दौरान भक्तों के लिए भोजन प्रसाद की व्यवस्था की गई। कथा के दौरान रोजाना 5 हजार भक्तों का भोजन बना। प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के लिए विदेशों से 2200 मेहमान आए हुए हैं। उनके रहने के लिए आश्रम परिसर में अस्थायी कॉटेज बनाकर सभी व्यवस्थाएं की गई। विश्वदीप गुरुकुल (ओम आश्रम जाडन) के सचिव स्वामी फूलपुरी के अनुसार- दुनिया में ओम् आकार का यह एक मात्र शिव मंदिर है। इसे बनने में 28 साल का वक्त लगा। 250 एकड़ के आश्रम में मंदिर बीचों बीच बना है। मंदिर के बीच में विश्वदीप गुरुकुल के संस्थापक स्वामी माधवानंद की समाधि है। सबसे ऊपर के भाग में ज्योतिर्लिंग है। चार मंजिला इमारत में स्कूल-कॉलेज होंगे, इसका निर्माण विश्वदीप गुरुकुल ट्रस्ट ने कराया है।

प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम 10 फरवरी को हेमादी श्रवण प्रायश्चित हवन, दशविध स्नान, मण्डप रचना शुद्धिकरण से शुरू हुए। 11 फरवरी को गणेश पूजन, स्वस्ति पुण्याहवाचन, मंडप प्रवेश, वर्णार्चन-मंडपादी, आवाहित स्थापित देवता पूजन हुआ। 12 फरवरी को शिव महापूजन, सहस्त्रार्चन, पंच वक्र पूजन स्थापित देवता पूजन, मंडप देवता पूजन किया गया। इसके बाद 13 फरवरी को अग्नि स्थापन गणेश महापूजन, सहस्त्र मोदकार्पण, ग्रह होम श्री ललिता सहस्त्रार्चन, श्री ललिता सहस्त्र होम किया गया। 14 फरवरी वसंत पंचमी को महारुद्र प्रारम्भ किया गया, मां सरस्वती की पूजन शोभा यात्रा निकाली गई और गंगा कलश यात्रा की गई। 15 फरवरी को कुटीर होम, प्रासाद वास्तु, शिखर एवं मूर्ति संस्कार महारुद्र हवन और पार्थिश्वर शिव महापूजा की गई। 16 फरवरी को एकादश महारुद्र न्यास, अर्न्तमामका, आवरण महापूजा जलाधिवास, धान्याधिवास के कार्यक्रम हुए। 17 फरवरी को शिखर मूर्ति फलाधिवास, पुष्पाधिवास, श्रीअधिवास स्थापित देवता पूजन, शिव सहस्त्र नाम हवन किया गया। 18 फरवरी श्री शिवार्चन सहस्त्र कमलार्चन, बिल्व पत्र अर्चन, स्थापित देवता पूजन, महारुद्र याग-पूर्ण तत्व न्यास और शैयाधिवास-शयनविद्रि संस्कार किए गए।

प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के तहत सोमवार सुबह 9 बजे से ओम् आश्रम में देव पूजन, ध्वज दंड, शिखर पूजन हुआ। इसके बाद दोपहर में मूर्ति प्रतिष्ठा होगी। साथ ही हवन, पूर्णाहुति, महाआरती के बाद प्रसादी कार्यक्रम होगा। दोपहर 12.30 बजे से 1.30 बजे तक अभिजित मुहूर्त में बांसवाड़ा जिले के राजपुरोहित त्रिपुरा सुंदरी मंदिर के उपासक निकुंजमोहन पंड्या और सह आचार्य पंडित कपिल त्रिवेदी मंत्रोच्चारण के साथ विधि विधान से प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम सम्पन्न कराया। जाडन आश्रम में मंदिर की नींव 1995 में रखी गई थी।

हिन्दुस्थान समाचार/रोहित/संदीप

   

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