२०१९ से अब तक १९८६ जिंदगी लील गईं जम्मू-कश्मीर की तीन खूनी सड़कें

जम्मू। स्टेट समाचार

 जम्मू-कश्मीर की तीन महत्वपूर्ण जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग, चिनाब घाटी और पीर पंजाल पर्वतमाला की ओर जाने वाली सड़कों पर 2019 से 2023 तक सड़क हादसों में 1986 लोगों की जान चली गई है। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, चिनाब घाटी में 2019 में दुर्घटनाओं में कम से 113 लोगों की जान चली गई। 2020 में इस क्षेत्र में सड़क हादसों में 64 लोगों की जान चली गई। 2021 में 91, 2022 में 81 और 2023 में 114 लोगों की जान चली गई। जम्मू-श्रीनगर हाईवे पर 2019 में 211 लोग हादसों में मारे गए।  ठ्ठशेष पेज ६ 2020 में 178, 2021 में 271, 2022 में 261 से अधिक और 2023 में 234 यात्रियों की जान चली गई। इसी तरह पीर पंजाल रेंज में वर्ष 2019 में सड़क हादसों में 109 लोग मारे गए। 2020 में 56, वर्ष 2021 में 65, वर्ष 2022 में 74 और वर्ष 2023 में 64 लोगों की जान चली गई। चिनाब घाटी, राष्ट्रीय राजमार्ग और पीर पंजाल की सड़कों पर 2019 में कुल 433 लोग मारे गए। 2020 में 298 लोगों की जान चली गई। आधिकारिक आंकड़ों से यह भी पता चलता है कि 2021 में सड़क दुर्घटनाओं में कम से कम 427 लोग मारे गए। इसके बाद 2022 में 416 और 2023 में 412 लोग मारे गए।

रामबन जिले में शुक्रवार को जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर एक एसयूवी फिसलकर गहरी खाई में गिर गई, जिससे उसमें सवार दस लोगों की मौत हो गई। अधिकारियों ने बताया कि वाहन (टवेरा) श्रीनगर से जम्मू की ओर जाते हुए रामबन के बैटरी चश्मा इलाके में देर रात करीब 1.15 बजे 300 फुट गहरी खाई में जा गिरा।  अधिकारियों ने बताया कि इस दुर्घटना में नौ यात्रियों और टवेरा चालक का शव बरामद कर लिया गया है। उनकी पहचान बलवान सिंह निवासी घरोटा, राजू कुमार, अवदेश बीन, बेलास बीन, इंद्रजीत बीन, बिपिन मुखिया, राज कुमार, हरी बीन, राजन मोगिया निवासी बिहार तथा संदीप कुमार निवासी उत्तर प्रदेश के रूप में हुई है। अधिकारियों ने बताया कि इलाके में भारी बारिश के बीच पुलिस और राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) के जवानों ने शवों को निकालने का अभियान चलाया।  प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सोशल मीडिया मंच एक्स पर एक पोस्ट में रामबन में हुई सड़क दुर्घटना में लोगों की मौत पर दुख जताया और शोक संतप्त परिवारों के प्रति अपनी संवेदनाएं व्यक्त की। प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) की ओर से कहा गया, ''प्रत्येक मृतक के परिजन को प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष (पीएमएनआरएफ) से दो लाख रुपये की राहत राशि प्रदान की जाएगी।  राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने जम्मू-कश्मीर में एक सड़क दुर्घटना में लोगों की मौत पर दुख जताया और शोक संतप्त परिवारों के प्रति अपनी संवेदनाएं व्यक्त की।  राष्ट्रपति मुर्मू ने सोशल मीडिया मंच 'एक्स' पर एक पोस्ट में कहा, ''जम्मू कश्मीर राष्ट्रीय राजमार्ग पर रामबन क्षेत्र में एक वाहन के खाई में गिरने से अनेक लोगों की मृत्यु होने का समाचार बहुत दुखद है। मैं शोक संतप्त परिवारजनों के प्रति अपनी संवेदनाएं व्यक्त करती हूं।' रामबन जिले में हुई सड़क दुर्घटना में लोगों की जान जाने को लेकर केंद्रशासित प्रदेश के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने दुख जताया। उपराज्यपाल ने अपने शोक संदेश में कहा, ''मुझे आज रामबन में दुर्भाग्यपूर्ण सड़क दुर्घटना के बारे में जानकर बहुत दुख हुआ, जिसमें कई कीमती जान चली गईं। मैं शोक संतप्त परिवारों के प्रति संवेदनाएं व्यक्त करता हूं।'  केंद्रीय मंत्री और ऊधमपुर के सांसद जितेंद्र सिंह ने एक्स पर एक पोस्ट कर कहा, शोक संतप्त परिवारों के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं हैं।  सिंह ने कहा, उस दुखद सड़क दुर्घटना के बारे में जानने के बाद रामबन के उपायुक्त बसीर-उल-हक से बात की, जिसमें बैटरी चश्मा के पास जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर एक वाहन के गहरी खाई में गिर जाने से दस लोगों की मौत हो गई। डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव आजाद पार्टी के अध्यक्ष गुलाम नबी आजाद ने शोक संतप्त परिवारों के प्रति अपनी संवेदनाएं व्यक्त कीं। 

   

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